बीआरडी अस्पताल में ऑक्सीजन की कमी के कारण महज 48 घंटों में साठ से बच्चों की मौत हो गई थी। उस दौरान डॉ कफील खान ने काफी तारीफें बटोरी थी, लेकिन बाद में उन्हें एनआईसीयू प्रमुख के पद से हटा दिया गया था।
न्यूज़ एजेंसी एएनआई के मुताबिक, गोरखपुर के बीआरडी कॉलेज में 100 बेड वार्ड के इंचार्ज डॉक्टर कफील खान को यूपी एसटीएफ ने शनिवार सुबह गोरखपुर से गिरफ्तार किया है।
#GorakhpurTragedy: Uttar Pradesh STF arrests accused Dr Kafeel Khan from Gorakhpur.
— ANI UP (@ANINewsUP) September 2, 2017
डॉ कफील के खिलाफ मुकदमा दर्ज
बता दें कि कि डॉ कफील के खिलाफ लखनऊ के हजरतगंज थाने में आईपीसी की धारा 409, 308, 120 बी, भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम के सेक्शन 8, इंडियन मेडिकल काउंसिल एक्ट 1956 के सेक्शन15, सूचना तकनीकी अधिनियम सन् 2000 के सेक्शन 66 के तहत मुकदमा दर्ज किया गया था। तब से वह फरार चल रहे थे।
डॉ कफील पर आरोप
कफील पर बच्चों की मौत में गैरजिम्मेदारी बरतने, निजी प्रैक्टिस न करने का झूठा हलफानामा देने गबन करने और साजिश के आरोप हैं। कफील पर कार्रवाई इसलिए की गई थी, क्योंकि वो सरकारी डॉक्टर रहते हुए प्राइवेट प्रैक्टिस कर रहे थे, जबकि वो सरकारी नौकरी ज्वाइन करते वक्त प्राइवेट प्रैक्टिस नहीं करने का हलफनामा दे चुके थे।
पत्नी भी चलाती हैं अस्पताल
कफील अहमद की पत्नी डॉक्टर शबिस्ता खान गोरखपुर में MEDISPRING CHILDREN HOSPITAL चलाती हैं. आरोप हैं कि डॉ कफील सरकारी अस्पताल की नौकरी करते हुए भी अपनी पत्नी के अस्पताल से पूरी तरह जुड़े रहे और वहां प्रैक्टिस करते रहे।
कफील पर 2015 में लगे रेप के आरोप की चर्चा भी शुरू हुई
डॉ. कफील खान के सुर्खियों में आने के बाद उनके खिलाफ 2015 में लगे एक रेप के आरोप की चर्चा भी शुरू हो गई थी। इस मामले में केस भी दर्ज हुआ था, लेकिन पुलिस ने जांच के बाद अपनी फाइनल रिपोर्ट में आरोप को झूठा बता कर खारिज कर दिया था।