जम्मू-कश्मीर की मुख्यमंत्री महबूबा ने कहा है कि राज्य अभी मुश्किल हालात से गुजर रहा है और इस हालात से निपटने में देश ने उसे अकेला छोड़ दिया है। मुख्यमंत्री ने मंगलवार को श्रीनगर में भारतीय ट्रैवल एजेंट्स एसोसिएशन (टीएएआई) के 64वें सम्मेलन में कहा कि जो हालात है उसने सिर्फ कश्मीर ही नहीं बल्कि जम्मू में भी पर्यटन को प्रभावित किया है। अगर आप पूरी दुनिया में देखें तो यह समस्या हर जगह है।
महबूबा ने राज्य मुश्किल समय से गुजर रहा है और टीवी न्यूज चैनल इसे बढ़ा-चढ़ाकर पेश कर रहे हैं। इसकी वजह से देश के दूसरे हिस्से के लोग यहां आने से डरने लगे हैं। उन्होंने कहा कि टीवी न्यूज चैनलों ने राज्य के बारे में ऐसी अवधारणा बना दी कि पूरा जम्मू-कश्मीर जल रहा है। महबूबा ने कहा कि यह सच्चाई नहीं है। मुझे यह कहने में कोई झिझक नहीं है कि कश्मीर पूरे देश में महिलाओं के लिए सबसे सुरक्षित जगह है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि हमारा काम काफी कठिन है। स्थितियों से निपटने के कई रास्ते हैं लेकिन हम सिर्फ एक रास्ता अपना रहे हैं, जो कि बंदूक के साथ बंदूक की लड़ाई है। इस प्रक्रिया में होने वाले जख्म के इलाज की भी जरूरत है और यह देश के लोग ही कर सकते हैं।
उन्होंने अपने पिता मुफ्ती मोहम्मद सईद को याद करते हुए कहा कि वे हमेशा कश्मीर में पर्यटकों के आने को शांति में निवेश बताते थे। सेना का एक जवान आतंकवाद से भी लड़ता है और सीमा की रक्षा भी करता है, यह लड़ने का एक तरीका है। दूसरा तरीका है अलगाव की भावना को दूर करना।
महबूबा ने कहा कि हमारे पास प्राकृतिक सौंदर्य है, सांस्कृतिक विविधता है, कई भाषाएं है। जितनी विविधताएं यहां हैं उतनी विविधता देश में कहीं नहीं है। यही वजह है कि हमें सर्वशक्तिमान ने सबसे ऊपर ताज के रूप में रखा है पर पिछले कुछ सालों में इसने चमक खो दी है।