केरल में एटीम से चोरी का बिल्कुल ही हाई टेक मामला सामने आया है। तिरुवनंतपुरम में भारतीय स्टेट बैंक की वेल्लयम्बलम आल्त्तरा शाखा के एटीएम से यह हाई टेक चोरी हुई है। दरअसल एटीएम मशीन में गोपनीय तरीके से चोरों द्वारा एक उपकरण लगाकर एक उपभोक्ता के एटीम की मैग्नेटिक स्ट्रिप की जानकारी लेकर उसके जरिये मुंबई में उस उपभोक्ता के खाते से पैसे निकाल लिए गए। इस तरह के कुछ और मामले सामने आए हैं। पुलिस ने चोरों की कार्य प्रणाली के बारे में बताया कि चोरों द्वारा टीएम मशीन में गोपनीय रूप से स्थापित एक उपकरण से कार्ड की मैग्नेटिक जानकारियां हासिल कर ली जाती है। साथ ही मशीन के ही किसी हिस्से में छुपाए कैमरे से कार्ड के पिन नंबर का भी वीडियो या फोटो ले लिया जाता है। पुलिस ने बताया कि इसके बाद ये सूचनाएं मुंबई भेजी जाती हैं और वहां इन जानकारियों के इस्तेमाल से फर्जी कार्ड बनाकर उपभोक्ता का पैसा निकाल लिया जाता है। अब तक इस तरह से 20 उपभोक्ताओं के लगभग साढ़े तीन लाख रुपये निकाले गए हैं। ये सभी आहरण मुंबई के वर्ली से किए गए हैं।
पुलिस ने बताया कि इस तरह की धोखाधड़ी में रूस-कजाकिस्तान केंद्रित एक अंतरराष्ट्रीय गिरोह इसमें शामिल है और बैंक में स्थापित सी सी टीवी कैमरे से पुलिस को तीन लोगों के फोटो मिले हैं, जो पुलिस के अनुमान के मुताबिक रूमानिया के हैं। केरल पुलिस मामले की बेहद संवेदनशीलता से जांच कर रही है। साईबर सेल विशेषज्ञों सहित पुलिस दल मुंबई के लिए रवाना हो चुका है। पुलिस के पास इस बात के पुख्ता सबूत हैं कि अंतरराष्ट्रीय गिरोह के इली,फ्लोरन और एक अन्य रूमानियाई नागरिक ने ये चोरी की है। पुलिस के मुताबिक राजधानी के आलीशान होटलों में ये कम से कम दस दिन ठहरे थे। इनके फोटो, पासपोर्ट की जानकारी आदि पुलिस को मिल चुकी है। पुलिस का अनुमान है कि वे अभी मुंबई में ठहरे हुए हैं। पुलिस ने लुक आउट नोटिस जारी कर इंटरपोल की मदद मांगी है। वहीं एसबीआई के मुख्य महाप्रबंधक आदिकेशवन ने कहा है कि जिन उपभोक्ताओं के पैसे निकाले गए हैं, उन्हें पैसा वापस दिया जाएगा और नया कार्ड भी दिया जाएगा। उन्होंने और पुलिस ने धोखाधड़ी के शिकार उपभोक्ताओं से आग्रह किया है कि वे अपना पिन नंबर तत्काल बदल दें।