जानकारी के मुताबिक, गिरफ्तारी के बाद पुलिस ने अमर सिंह, किशोर बरेला और प्रभाकर बिरला को अदालत में पेश किया और उन्हें न्यायिक हिरासत में भेज दिया। स्थानीय निवासी राजू ने अपनी शिकायत में कहा था, तीनों ने गांव सीताबेरी में एक समान शिविर का आयोजन किया था और आदिवासियों को लुभाने के लिए बाइबिल और ईसाई धर्म का प्रतीक क्रॉस बांट रहे थे। ग्रामीणों ने बताया कि तीनों आरोपियों ने कहा था कि यदि वे ईसा मसीह पर विश्वास करते हैं तो उनकी बीमारी ठीक हो जाएगी।
पुलिस के मुताबिक, तीनों आरोपी बुरहानपुर, बदवानी और महाराष्ट्र से हैं। तीनों पर गांव में 50 से अधिक लोगों को परिवर्तित करने का आरोप लगाया गया है।
गौरतलब है कि पिछले शनिवार, उत्तर प्रदेश के महाराजगंज में हिंदू युवा वाहिनी के कार्यकर्ताओं चर्च की प्रार्थना सभा में जबरन घुस गए और आरोप लगाया कि यहां स्थानीय लोगों का धर्म परिवर्तन कराया जा रहा था।