एक उच्च स्तरीय आपात बैठक में दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने आज कहा कि राष्ट्र्रपति भवन, प्रधानमंत्री कार्यालय और आवास, भारत के प्रधान न्यायाधीश, रक्षा प्रतिष्ठानों, अस्पतालों और दमकल विभाग के अलावा अन्य में पानी का नियंत्रित वितरण समान रूप से किया जाएगा। उन्होंने कहा कि उनके आवास और कार्यालय पर पानी के नियंत्रित वितरण की बात लागू होगी।
उन्होंने कहा कि जाट आंदोलन के चलते हरियाणा की मुंडक नहर से दिल्ली को जल की आपूर्ति अवरूद्ध किए जाने से शहर पर असर पड़ा है। केजरीवाल ने जनता से अपील की है कि वे पानी का यथासंभव संरक्षण करें। केजरीवाल ने एक ट्वीट में कहा, राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री, प्रधान न्यायाधीश, रक्षा प्रतिष्ठानों, अस्पतालों, दमकल विभागों को छोड़कर बाकी सभी में पानी को समान रूप से नियंत्रित तौर पर वितरित किया जाएगा। कृपया पानी बचाएं। कल स्कूल बंद रहेंगे।
दिल्ली सरकार ने कल रात उच्चतम न्यायालय का दरवाजा खटखाया था और न्यायालय ने अनुरोध किया था कि वह केंद्र को हस्तक्षेप करने और मुंडक नहर से जल आपूर्ति सुनिश्चित करने के लिए निर्देश दे। मुख्यमंत्री ने कहा कि सभी जलशोधन संयंत्र बंद कर दिए गए हैं और यदि आज हरियाणा पानी छोड़ भी देता है तो भी आपूर्ति बहाल करने में कम से कम 24 घंटे लगेंगे। उन्होंने कहा, पानी बहुत कम है क्योंकि वहां (नहर) से पानी नहीं आ रहा है। सभी जल शोधन संयंत्र बंद कर दिए गए हैं और जलाशयों में जो भी पानी जमा है, उसे टैंकरों के जरिए वितरित किया जा रहा है।