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पश्चिम बंगाल में 21 मई से चलेंगी अंतर-जिला बसें, ममता ने केंद्र के आर्थिक पैकेज को जीरो बताया

कोविड-19 को रोकने के लिए देश में लागू किए गए लॉकडाउन-4 का आज पहला दिन है। इस बीच, पश्चिम बंगाल सरकार ने...
पश्चिम बंगाल में 21 मई से चलेंगी अंतर-जिला बसें, ममता ने केंद्र के आर्थिक पैकेज को जीरो बताया

कोविड-19 को रोकने के लिए देश में लागू किए गए लॉकडाउन-4 का आज पहला दिन है। इस बीच, पश्चिम बंगाल सरकार ने लॉकडाउन को बढ़ाने का ऐलान किया है। मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने कहा कि कोविड-19 के खतरे को देखते हुए लॉकडाउन की अवधि 31 मई तक बढ़ाई जाती है। हालांकि यहां रात्रिकालीन कर्फ्यू नहीं लागू होगा लेकिन लोगों से अनुरोध किया गया है कि शाम सात बजे के बाद घर से न निकलें।

विभिन्न राज्यों में फंसे राज्य के प्रवासी मजदूरों को वापस लाने को लेकर सीएम ममता बनर्जी ने कहा कि आने वाले कुछ दिनों में मजदूरों को वापस लाने के लिए 120 और ट्रेन चलवाने की कोशिश की जाएगी। मजदूरों के किराये-भाड़े का खर्चा राज्य सरकार वहन करेगी। केंद्र सरकार के 20 लाख करोड़ रुपये के पैकेज को ममता बनर्जी ने सिरे से नकार दिया। उन्होंने कहा कि हम केंद्र की जन विरोधी स्थितियों को स्वीकार नहीं करना चाहते, पूरा आर्थिक पैकेज एक बड़ा जीरो है।

ऑटो-रिक्शा को सशर्त इजाजत

उन्होंने कहा कि निजी दफ्तरों को 50 फीसदी कर्मचारियों  के साथ कार्य शुरू करने की इजाजत होगी, इनमें वे दफ्तर भी शामिल होंगे जो किसी मॉल में स्थित हैं। सभी बड़ी दुकानें 21 मई से खुलेंगी और फेरीवालों का बाजार 27 मई से हर वैकल्पिक दिन में खुलेगा। अंतर-जिला बसों के परिवहन को 21 मई से अनुमति दी जाएगी। 27 मई के ऑटो रिक्शॉ चलाने की भी अनुमति होगी लेकिन अधिकतम दो लोग बैठ सकेंगे। उन्होंने कहा रेहड़ी-पटरी वालों को और सैलून व पॉर्लर को 27 मई से खुलने की अनुमति दी जाएगी, लेकिन उनके लिए सभी उपकरण सैनिटाइज करना जरूरी होगा। हालांकि, यह अनुमति केवल नॉन कंटेनमेंट जोन में होगी। 

राज्य दिशानिर्देशों में नहीं दे सकते हैं ढील

लॉकडाउन के चौथे चरण को लेकर गृह मंत्रालय ने कहा है कि कोई भी राज्य अथवा केंद्र शासित प्रदेश जारी किए गए गाइडलाइन में ढील नहीं दे सकता है। राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों के मुख्य सचिवों के साथ केंद्रीय गृह सचिव अजय भल्ला की वीडियो-कॉन्फ्रेंसिंग के दौरान कहा, "गृह मंत्रालय द्वारा राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों के लिए जारी किए गए गाइडलाइन में वे ढील नहीं दे सकते हैं। कोरोना स्थिति के आकलन के आधार पर राज्य कुछ गतिविधियों को शुरू कर सकते हैं।" अजय भल्ला ने सभी राज्यों के मुख्य सचिवों को लिखे अपने पत्र में कहा, "मैं अनुरोध करता हूं कि नए गाइडलाइन का अनुपालन सुनिश्चित किया जाए और सभी संबंधित अधिकारियों को उनके सख्त कार्यान्वयन के लिए निर्देशित किया जाए।"

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