प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने कहा कि भारत ने चंद्रमा पर तिरंगा फहराकर दुनिया को अपनी क्षमता दिखाई है तथा उसका विज्ञान, प्रौद्योगिकी और नवाचार वैश्विक स्तर पर आवेग पैदा कर रहा है।
यूनान की राजधानी एथेंस में भारतीय प्रवासियों को संबोधित करते हुए उन्होंने पिछले नौ वर्षों में उनकी सरकार द्वारा हासिल की गई कई उपलब्धियों का हवाला दिया और जोर दिया कि बुनियादी ढांचे के क्षेत्र में पहले कभी इतना निवेश नहीं किया गया था।
उन्होंने कहा कि 2014 के बाद से भारत में 25 लाख किलोमीटर से अधिक लंबी ऑप्टिकल फाइबर केबल बिछाई गई है, जो पृथ्वी और चंद्रमा के बीच की दूरी से छह गुना अधिक है। उन्होंने कहा कि भारत ने रिकॉर्ड समय में लगभग 700 जिलों में स्वदेशी 5जी प्रौद्योगिकी पहुंचा दी है। प्रधानमंत्री की यह बात सुनते ही वहां मौजूद दर्शकों ने तालियां बजायी। उन्होंने कहा कि दुनिया का सबसे ऊंचाई वाला रेलवे पुल, मोटर चलने योग्य सड़क के अलावा सबसे बड़ा क्रिकेट स्टेडियम और सबसे ऊंची प्रतिमा अब भारत में हैं।
इस सप्ताह की शुरुआत में चंद्रमा की सतह पर चंद्रयान-3 की सफल सॉफ्ट लैंडिंग का जिक्र करते हुए मोदी ने कहा कि हर व्यक्ति जश्न के वक्त अपने परिवार के सदस्यों के बीच रहना चाहता है। उन्होंने कहा, ‘‘मैं अब अपने परिवार के सदस्यों के बीच हूं।’’
मोदी ने कहा कि सफल चंद्र मिशन पर दुनियाभर से भारत को बधाई दी जा रही है। उन्होंने कहा कि सब जगह भारतीयों को बधाई संदेश मिल रहे हैं।
उन्होंने कहा कि यह सफलता रक्षा बंधन के पर्व से पहले मिली है और उन्होंने भारत माता की चंद्रयान-3 के रूप में अपनी राखी चांद को भेजने की सोशल मीडिया पर प्रसारित तस्वीरों का जिक्र किया। उन्होंने कहा कि भारत चंद्रमा के दक्षिण ध्रुव ‘‘डार्क’’ जोन पर उतरने वाला पहला देश बन गया है।
प्रधानमंत्री ने कहा, ‘‘आप कहीं भी रहें लेकिन आपका दिल भारत के लिए धड़कता है।’’ उन्होंने कहा कि भारतीय समुदाय विभिन्न देशों में स्थानीय आबादी के साथ घुलमिल गया है जैसे कि चीनी दूध में घुल जाती है।
उन्होंने कहा कि विश्व बैंक और आईएमएफ जैसे शीर्ष वैश्विक निकाय भारतीय अर्थव्यवस्था की प्रशंसा कर रहे हैं और प्रमुख कंपनियां भारत में निवेश करने के लिए एक-दूसरे के साथ होड़ कर रही हैं। उन्होंने कहा कि कोविड-19 के बाद विश्व व्यवस्था में देश की भूमिका तेजी से बदल रही है।
प्रधानमंत्री ने भारत और यूनान की सभ्यताओं के बीच प्राचीन संबंधों का जिक्र किया और उनके संबंधों को मजबूत करने में सिख गुरुओं की भूमिका की प्रशंसा की। उन्होंने कहा कि उनकी सरकार ने सिखों से संबंधित घटनाओं को मनाने के लिए समर्पण के साथ काम किया है। उन्होंने कहा कि गुरु नानक ने यूनान में कई स्थानों की यात्रा की थी और सौहार्द तथा भाईचारे के अपने संदेश को फैलाया था।
मोदी ने कहा कि गुजरात में उनका जन्म स्थान वडनगर के साथ ही उत्तर प्रदेश में उनका लोकसभा निर्वाचन क्षेत्र वाराणसी, एथेंस की तरह ही प्राचीन काल से जीवंत रहे हैं।
उन्होंने कहा कि उनकी सरकार ने 13.5 करोड़ से अधिक लोगों को गरीबी से बाहर निकाला है। उन्होंने कहा कि देश की अर्थव्यवस्था के बढ़ते आकार के साथ ही लोगों की आमदनी भी बढ़ रही है जिससे वे अधिक निवेश कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि भारत ने विभिन्न संकटों के दौरान अपने नागरिकों की सुरक्षा को प्राथमिकता दी है चाहे वह रूस-यूक्रेन संघर्ष हो या अफगानिस्तान में संघर्ष हो।
मोदी ने कहा कि भारत सरकार अफगानिस्तान से सिख ‘सरूप’ (श्री गुरु ग्रंथ साहिब की प्रतियां) भी पूरे सम्मान के साथ वापस लेकर आयी।
भारत में पर्यटन का प्रचार करते हुए उन्होंने कहा कि जिस तरह भारतीय यूनान आते हैं उसी तरह यूनानी भी भारत की समृद्ध विरासत और जैव-विविधता को देखने के लिए जल्द ही भारत भ्रमण शुरू करेंगे।
उन्होंने भारतीय प्रवासी समुदाय के सदस्यों से यूनान में अपने मित्रों को भारत में विभिन्न आकर्षण के बारे में बताने को कहा, जैसे कि देश में आठ प्रतिशत से अधिक वैश्विक जैवविविधता और बाघ की 75 फीसदी आबादी है। मोदी ने कहा, ‘‘आज भारत अपनी विरासत का जश्न मना रहा है और इसे विकास से भी जोड़ रहा है।’’