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'सरकारी आतंकवाद' से जीती भाजपा, नहीं पड़ेगा सपा से रिश्तों पर असर: मायावती

राज्यसभा चुनाव में शुक्रवार को कांटे का मुकाबला देखने को मिला। अपने प्रत्याशी की हार के बाद बसपा...
'सरकारी आतंकवाद' से जीती भाजपा, नहीं पड़ेगा सपा से रिश्तों पर असर: मायावती

राज्यसभा चुनाव में शुक्रवार को कांटे का मुकाबला देखने को मिला। अपने प्रत्याशी की हार के बाद बसपा सुप्रीमो मायावती ने रविवार को बीजेपी पर जमकर निशाना साधा। उन्होंने साफ किया कि इस हार का सपा-बसपा गठबंधन पर 'एक इंच' फर्क नहीं पड़ेगा। उन्होंने कहा कि बसपा अब अपनी नई रणनीति पर काम करेगी। बीजेपी की अराजकता जारी है। उन्होंने भाजपा पर अनैतिक तरीके से जीतने का आरोप लगाया।

'सरकारी आतंकवाद' शब्द का प्रयोग

मायावती ने कहा, 'प्रधानमंत्री मोदी और मुख्यमंत्री योगी ने राज्यसभा चुनाव जीतने के लिए सरकारी आतंकवाद का माहौल बनाया। मैं शब्द इस्तेमाल कर रही हूं सरकारी आतंकवाद।'

उन्होंने कहा, 'गोरखुपर और फूलपुर में चुनाव में मिली हार के बाद राज्यसभा चुनाव में बीजेपी ने साजिश रची। गोरखपुर और फूलपुर में मिली हार को भुलाया नहीं जा सकता है, चाहे बीजेपी के प्रत्याशी कितने भी लड्डू खा लें। मोदी-योगी की परंपरागत सीट पर 28 साल बाद जो धब्बा लगा है, वो इस अनैतिक जीत से धुलने वाले नहीं है। ये बीजेपी वाले भी जानते हैं। 

भाजपा पर लगाया खरीद-फरोख्त का आरोप

बसपा प्रमुख ने कहा, 'बीजेपी गलत काम करने से बाज नहीं आ रही है। बीजेपी की अराजकता की वजह से राज्यसभा चुनाव में बसपा उम्मीदवार को हार का सामना करना पड़ा। बीजेपी विपक्ष को डराने की कोशिश कर रही है। बीजेपी के तमाम हथकंडों के बावजूद बसपा के उम्मीदवार भीमराव अंबेडकर को ज्यादा वोट मिले हैं। राज्यसभा चुनाव में बसपा को हराने के लिए बीजेपी ने अपनी पूरी ताकत लगा दी, वहीं बसपा के एक उम्मीदवार ने दगाबाजी की।'

मायावती ने कहा कि बीजेपी के एक दलित विधायक ने अपनी आत्मा की आवाज पर बसपा उम्मीदवार को दिया। वहीं बसपा प्रमुख मायावती ने राज्यसभा चुनाव में अपनी पार्टी के उम्मीदवार को वोट देने के लिए कांग्रेस और सपा के विधायकों का अाभार जताया। बसपा प्रमुख ने बीजेपी पर विधायकों की खरीद फरोख्त का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि राज्यसभा चुनाव में बसपा उम्मीदवार को शिकस्त देने के लिए बीजेपी ने तमाम हथकंडे अपनाए।

'सपा-बसपा गठबंधन पर नहीं पड़ेगा फर्क'

सपा-बसपा गठबंधन पर मायावती ने कहा, 'मैं भाजपा एंड कंपनी को बताना चाहती हूं कि उनके गलत तरीके सपा-बसपा का गठबंधन तोड़ने में सफल नहीं होंगे। कल के परिणाम से गठबंधन पर एक इंच भी असर नहीं पड़ा है।'

उन्होंने अखिलेश यादव को सलाह देते हुए कहा कि सपा मुखिया अखिलेश यादव राजा भैया की जगह बीजेपी के षडयंत्र पर जोर लगाते तो नतीजा कुछ और होता, यहां थोड़ी चूक हुई। मैं इनकी जगह होती तो सपा को उम्मीदवार को जिताती। लेकिन अपने अनुभव को इस्तेमाल करके बीजेपी के लोगों को आगाह कर देना चाहती हूं कि सोची समझी षड्यंत्र के तहत बसपा के उम्मीदवार को हराया है, ये मैं कभी नहीं होने दूंगी।

गेस्ट हाउस कांड पर क्या बोलीं मायावती

भाजपा पर सनसनीखेज आरोप लगाते हुए मायावती ने कहा, 'भाजपा हमें गेस्ट हाउस घटना की याद दिला रही है, जो 2 जून, 1995 को हुई थी। यह घटना मुझे मारने के उद्देश्य से हुई थी। भाजपा उस घटना में शामिल पुलिसवाले को सर्वोच्च पद देकर क्या साबित करना चाह रही है? क्या वो मुझे मारना चाहते हैं?'


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