दिल्ली की मुख्यमंत्री आतिशी ने बुधवार को आरोप लगाया कि भाजपा शहर में विधानसभा चुनाव से पहले आप प्रमुख अरविंद केजरीवाल के नई दिल्ली निर्वाचन क्षेत्र में महिलाओं को नकदी बांट रही है। उन्होंने दिल्ली पुलिस, ईडी और सीबीआई से कार्रवाई करने को भी कहा।
एक संवाददाता सम्मेलन में वरिष्ठ आप नेता आतिशी ने कहा कि पूर्व भाजपा सांसद प्रवेश वर्मा के विंडसर प्लेस स्थित आवास पर झुग्गी-झोपड़ियों की महिलाओं को 1,100-1,100 रुपये दिए गए और उनकी मतदाता पहचान-पत्र की जानकारी भी नोट कर ली गई।
हालांकि, वर्मा ने आरोपों से इनकार किया और कहा कि यह धनराशि उनके दिवंगत पिता और दिल्ली के पूर्व मुख्यमंत्री साहिब सिंह वर्मा द्वारा गठित गैर सरकारी संगठन 'राष्ट्रीय स्वाभिमान' के अभियान के तहत वितरित की गई थी।
उन्होंने कहा, "मैं दिल्ली पुलिस, सीबीआई, ईडी से उस बंगले पर छापेमारी करने को कहती हूं जहां करोड़ों रुपये रखे गए हैं। आप पुलिस और चुनाव आयोग से औपचारिक शिकायत करेगी और वर्मा की गिरफ्तारी की मांग करेगी।"
केजरीवाल ने यह भी आरोप लगाया है कि उनके निर्वाचन क्षेत्र में लोगों को नकदी वितरित की जा रही है। बता दें कि पश्चिमी दिल्ली से भाजपा के पूर्व सांसद वर्मा ने पहले दावा किया था कि पार्टी के वरिष्ठ नेताओं ने उनसे नई दिल्ली विधानसभा क्षेत्र से चुनाव लड़ने की तैयारी शुरू करने को कहा था।
वर्मा ने एक बयान में कहा कि समाज के गरीब वर्ग की महिलाओं को 1,100 रुपये की मासिक वित्तीय सहायता प्रदान करने की योजना के पीछे 'राष्ट्रीय स्वाभिमान' है।
वर्मा ने कहा, "मैं महिलाओं का दर्द देख रहा हूं जिसे अरविंद केजरीवाल 11 साल तक नहीं देख पाए। वे परेशान थीं, मैंने फैसला किया कि हम उन्हें 1,100 रुपये प्रति माह देंगे। कम से कम मैं अरविंद केजरीवाल की तरह शराब तो नहीं बांट रहा हूं। मुझे खुशी है कि मैं लोगों की मदद कर रहा हूं।"
वर्मा ने कहा कि राष्ट्रीय स्वाभिमान लोगों की मदद करने में लगा हुआ है और उसने गुजरात में भूकंप से तबाह हुए दो गांवों तथा ओडिशा में चक्रवात से नष्ट हुए चार गांवों का पुनर्विकास किया है। संगठन ने कोविड महामारी के दौरान लोगों की जान बचाने, ऑक्सीजन कंसंट्रेटर उपलब्ध कराने और पश्चिमी दिल्ली में एक देखभाल केंद्र खोलने में भी करोड़ों रुपये खर्च किए।
उन्होंने कहा कि केजरीवाल और आतिशी चाहे जितना शोर मचा लें, लेकिन वह महिलाओं की मदद करना जारी रखेंगे और कोई भी महिला उनके आवास से खाली हाथ नहीं लौटेगी।
70 सदस्यीय दिल्ली विधानसभा के लिए चुनाव अगले वर्ष फरवरी में होने वाले हैं।