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दिल्ली कोचिंग सेंटर हादसे पर सुप्रीम कोर्ट ने लिया स्वतः संज्ञान, केंद्र-दिल्ली सरकार को नोटिस जारी

सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार को एक कोचिंग सेंटर के बेसमेंट में सिविल सेवा के तीन उम्मीदवारों की मौत का स्वत:...
दिल्ली कोचिंग सेंटर हादसे पर सुप्रीम कोर्ट ने लिया स्वतः संज्ञान, केंद्र-दिल्ली सरकार को नोटिस जारी

सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार को एक कोचिंग सेंटर के बेसमेंट में सिविल सेवा के तीन उम्मीदवारों की मौत का स्वत: संज्ञान लिया और केंद्र तथा दिल्ली सरकार से जवाब मांगा।

न्यायमूर्ति सूर्यकांत और न्यायमूर्ति उज्जल भुइयां की पीठ ने कहा कि राष्ट्रीय राजधानी में हाल ही में हुई घटना सभी के लिए आंख खोलने वाली है। पीठ ने कहा, "ये स्थान (कोचिंग सेंटर) मौत के चैंबर बन गए हैं। जब तक सुरक्षा मानदंडों और सम्मानजनक जीवन के लिए बुनियादी मानदंडों का पूर्ण अनुपालन नहीं किया जाता है, तब तक कोचिंग संस्थान ऑनलाइन संचालित हो सकते हैं। कोचिंग सेंटर देश के विभिन्न हिस्सों से आने वाले उम्मीदवारों के जीवन के साथ खिलवाड़ कर रहे हैं।"

शुक्रवार को दिल्ली हाईकोर्ट ने ओल्ड राजेंद्र नगर में राऊ के आईएएस स्टडी सर्किल में तीन छात्रों की मौत की जांच शहर की पुलिस से केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) को सौंप दी, ताकि "लोगों को जांच पर कोई संदेह न हो"। मरने वाले तीन लोगों में उत्तर प्रदेश की श्रेया यादव (25), तेलंगाना की तान्या सोनी (25) और केरल के नेविन डेल्विन (24) शामिल हैं।

गौरतलब है कि दिल्ली के ओल्ड राजेंद्र नगर में 27 जुलाई को एक बड़ा हादसा हुआ था। यहां प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी कराने वाली राव एकेडेमी के बेसमेंट में पानी में डूबकर तीन बच्चों की मौत हो गई। राष्ट्रीय राजधानी में  27 जुलाई की शाम अचानक हुई बारिश के कारण लाइब्रेरी में पानी भर गया था। मृतकों दो छात्र और एक छात्रा शामिल थे। तीनों यूपीएससी की तैयारी कर रहे थे। मृतकों की पहचान तेलंगाना निवासी तान्या सोनी, केरल निवासी नेविन डाल्विन और यूपी निवासी श्रेया यादव के रूप में हुई।

 

 

 

 

 

 

 

 

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