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सत्ता में आए तो ‘अग्निपथ’ निरस्त कर पुरानी भर्ती प्रक्रिया बहाल करेंगे: कांग्रेस

कांग्रेस ने सेना में भर्ती की नयी योजना ‘अग्निपथ’ को युवाओं के साथ अन्याय करार देते हुए सोमवार को...
सत्ता में आए तो ‘अग्निपथ’ निरस्त कर पुरानी भर्ती प्रक्रिया बहाल करेंगे: कांग्रेस

कांग्रेस ने सेना में भर्ती की नयी योजना ‘अग्निपथ’ को युवाओं के साथ अन्याय करार देते हुए सोमवार को कहा कि अगर वह सत्ता में आती है तो इस योजना को निरस्त कर पुरानी भर्ती प्रक्रिया को बहाल करेगी।

पार्टी अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू को पत्र लिखकर आग्रह किया कि उन करीब दो लाख नौजवानों के साथ न्याय किया जाए जिनका ‘‘चयन सेना की नियमित सेवा में होने के बावजूद उनकी भर्ती नहीं की गई।’’

उन्होंने दावा किया कि सरकार द्वारा इनकी भर्ती रोककर ‘‘अग्निपथ’’ योजना लाई गई जिसके कारण इन युवाओं को पीड़ा झेलनी पड़ रही है।

कांग्रेस महासचिव सचिन पायलट ने संवाददाताओं से कहा, ‘‘मोदी सरकार ने 14 जून, 2022 को अग्निपथ योजना की घोषणा की थी। सरकार का यह निर्णय एकतरफा था। इसमें कहा ये गया कि सेना में भर्ती अग्निपथ योजना के माध्यम से की जाएगी तथा सेना की औसत आयु को कम और सेना का आधुनिकीकरण करना है। जबकि मोदी सरकार ने इस योजना को पैसा बचाने के लिए शुरू किया।’’

उन्होंने कहा, ‘‘एक तरफ सरकार का कहना है कि हम रक्षा निर्यात से बहुत पैसा कमा रहे हैं, आत्मनिर्भर हुए हैं। ऐसे में अगर हम रक्षा क्षेत्र में इतने सक्षम हो रहे हैं, तो सरकार को हमारे सैनिकों के जीवन, उनके पेंशन और परिवार की सुख-सुविधाओं के लिए काम करना चाहिए।’’

पायलट का कहना था कि अग्निपथ योजना का कांग्रेस पार्टी ने शुरुआत से ही विरोध किया है, क्योंकि ये सेना के साथ खिलवाड़ है।

उन्होंने कहा, ‘‘कांग्रेस का मानना है कि अग्निपथ कोई सकारात्मक योजना नहीं है। अगर जनता हमें चुनती है तो हम निश्चित तौर पर भर्ती की पुरानी प्रक्रिया की तरफ लौट जाएंगे।’’

कांग्रेस सांसद दीपेंद्र हुड्डा ने राष्ट्रपति को खरगे द्वारा लिखे गए पत्र का उल्लेख करते हुए कहा, ‘‘देश में कोविड के दौरान और उससे पहले सेना की कई भर्तियां पूरी हो चुकी थी। इनमें केवल सेवा में शामिल होना बाकी थी। लेकिन अग्निपथ योजना आने के बाद सरकार द्वारा चयनित इन नौजवानों को सेवा में शामिल नहीं किया गया।’’

उनका कहना था, ‘‘इन नौजवानों ने राहुल गांधी जी से मिलकर अपना दर्द साझा किया था। तभी से राहुल गांधी जी इनकी आवाज लगातार उठा रहे हैं। आज कांग्रेस अध्यक्ष खरगे जी ने भी राष्ट्रपति जी को पत्र लिखकर इन चयनित नौजवानों को सेवा में शामिल करने की की मांग की है। हम इन नौजवानों के सेना में भर्ती होने तक यह लड़ाई लड़ते रहेंगे।’’

खरगे ने पत्र में लिखा, ‘‘हाल ही में मैं इन नौजवानों से मिला। उन्होंने मुझे बताया कि 2019 और 2022 के बीच लगभग दो लाख अभ्यर्थियों को सूचित किया गया था कि उन्हें तीन सशस्त्र सेवाओं- सेना, नौसेना और वायु सेना में चयनित कर लिया गया है। इन युवाओं ने कठिन मानसिक और शारीरिक परीक्षण तथा लिखित परीक्षा पास करने के लिए सभी बाधाओं के बावजूद संघर्ष किया था।’’

उन्होंने कहा, ‘‘ 31 मई 2022 तक उन्हें विश्वास था कि उन्होंने अपने सपने पूरे कर लिए हैं और उन्हें केवल अपने नियुक्ति पत्र का इंतजार था। उस दिन भारत सरकार द्वारा इस भर्ती प्रक्रिया को समाप्त करने और इसके स्थान पर अग्निपथ योजना लागू करने के निर्णय से उनके सपने चकनाचूर हो गये।’’ उन्होंने दावा किया, ‘‘ अग्निपथ योजना के साथ कई मुद्दे जुड़े हैं। पूर्व सेनाध्यक्ष एमएम नरवणे ने लिखा है कि अग्निपथ से सेना ‘‘आश्चर्यचकित’’ हो गई थी।’’

खड़गे ने कहा, ‘‘ इसके अलावा, यह योजना सैनिकों के समानांतर कैडर बनाकर हमारे जवानों के बीच भेदभाव पैदा करने वाली है…चार साल की सेवा के बाद अधिकतर अग्निवीरों को नौकरी ढूंढने के लिए छोड़ दिया जाएगा। इसके बारे में कुछ लोगों का तर्क है कि इससे सामाजिक स्थिरता प्रभावित हो सकती है।’’ उन्होंने कहा, ‘‘ इस सपने को पूरा करने में उन्हें (अभ्यर्थी) न केवल कई साल लग गए बल्कि 50 लाख आवेदकों में से प्रत्येक को 250 रुपये जमा करने पड़े, जो इन युवाओं से लिए गए 125 करोड़ रुपये की भारी भरकम राशि है।’’

कांग्रेस अध्यक्ष ने दावा किया कि हताशा और निराशा के कारण कई ने खुदकुशी तक कर ली है। खड़गे ने पत्र में कहा, ‘‘हमारे युवाओं को इस तरह से पीड़ा झेलने नहीं दिया जा सकता। मैं आपसे यह सुनिश्चित करने की अपील करता हूं कि न्याय हो।’’

 
 

 

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