46 वर्षीय राहुल को जनवरी 2013 में जयपुर के चिंतन शिविर में उपाध्यक्ष चुना गया था। बैठक में वरिष्ठ पार्टी नेता मनमोहन सिंह, पी चिदम्बरम, गुलाम नबी आजाद, जनार्दन द्विवेदी, अहमद पटेल, अम्बिका सोनी और ए के एंटनी समेत कई अन्य नेताओं ने भाग लिया। इस बैठक में संगठनात्मक चुनाव को अगले साल के लिए टाले जाने का फैसला होगा।
16 नवंबर से शुरू हो रहे संसद के शीतकालीन सत्र से पूर्व समिति की बैठक होना महत्वपूर्ण माना जा रहा है। संसद सत्र में कांग्रेस विभिन्न मुद्दों पर सरकार को घेरने की योजना बना रही है जिनमें पठानकोट हमले की कवरेज को लेकर एनडीटीवी इंडिया के खिलाफ एक दिवसीय प्रतिबंध के मुद्दे पर अभिव्यक्ति की स्वतंत्रात का विषय भी शामिल है।
सर्जिकल स्टाइक, सिमी के आठ आतंकवादियों के एक मुठभेड़ में मारे जाने, तीन तलाक और समान नागरिक संहिता के मुद्दों को भी कांग्रेस द्वारा उठाए जाने की संभावना है। बैठक में राहुल गांधी की पदोन्नति के मामले पर कोई फैसला होने की संभावना नहीं है क्योंकि पार्टी के भीतर एक वर्ग का मानना है कि उत्तर प्रदेश और पंजाब विधानसभा चुनाव के बाद इस मामले को लिया जाना चाहिए।
कांग्रेस में संगठनात्मक चुनाव काफी लंबे समय से अटके पड़े हैं और पार्टी ने 31 दिसंबर तक इस प्रक्रिया को पूरा करने के लिए चुनाव आयोग से समय मांगा है। भाषा एजेंसी