Advertisement

सत्र के अंतिम दिन राज्यसभा में तीन विधेयकों को मिली मंजूरी

संसद सत्र के अंतिम दिन परमाणु ऊर्जा (संशोधन) विधेयक सहित तीन महत्वपूर्ण विधेयकों को अपनी मंजूरी दे दी। साथ ही सरकार ने स्पष्ट किया कि परमाणु उर्जा के क्षेत्र में बनायी जाने वाली संयुक्त उद्यम कंपनी में 49 प्रतिशत तक की भागीदारी केवल सार्वजनिक क्षेत्र की कंपनियों की होगी।
सत्र के अंतिम दिन राज्यसभा में तीन विधेयकों को मिली मंजूरी

 परमाणु ऊर्जा (संशोधन) विधेयक को राज्यसभा में बिना चर्चा के ध्वनिमत से पारित कर दिया गया। लोकसभा इसे पहले ही पारित कर चुकी है। विधेयक पारित करने के क्रम में कांग्रेस के वरिष्ठ नेता जयराम रमेश ने सरकार से स्पष्टीकरण मांगते हुए कहा कि इस विधेयक में परमाणु उर्जा के क्षेत्र में बनायी जाने वाली संयुक्त उद्यम कंपनी में सरकार की 51 प्रतिशत भागीदारी होगी। उन्होंने पूछा कि क्या शेष 49 प्रतिशत भागीदारी निजी कंपनी की हो सकती है। इसके जवाब में परमाणु उर्जा मंत्रालय में राज्य मंत्री जितेन्द्र सिंह ने स्पष्ट किया कि इस क्षेत्र की संयुक्त उद्यम कंपनी में निजी क्षेत्र की कंपनियों की भागीदारी नहीं होगी। इसमें केवल सार्वजनिक कंपनियों की भागीदारी होगी।

सदन ने इसी के साथ वाणिज्यिक विवादों के शीघ्र निस्तारण के प्रावधानों वाले वाणिजियक न्यायालय, उच्च न्यायालय वाणिज्यिक प्रभाग और वाणिज्यिक अपील प्रभाग विधेयक 2015 को बिना चर्चा के धवनिमत से पारित कर दिया। तीनों ही विधेयक लोकसभा में पहले ही पारित हो चुके हैं। माकपा सहित वाम दलों के सदस्यों ने वाणिजियक न्यायालय, उच्च न्यायालय वाणिज्यिक प्रभाग और वाणिज्यिक अपील प्रभाग विधेयक 2015 को बिना चर्चा के पारित कराये जाने के विरोध में सदन से बहिर्गमन किया।

 

अब आप हिंदी आउटलुक अपने मोबाइल पर भी पढ़ सकते हैं। डाउनलोड करें आउटलुक हिंदी एप गूगल प्ले स्टोर या एपल स्टोर से
Advertisement
Advertisement
Advertisement
  Close Ad