मुख्य आर्थिक सलाहकार अरविंद सुब्रमण्यम को बर्खास्त करने की स्वामी की मांग को लेकर उनके और वित्त मंत्री अरूण जेटली के बीच हुए वाकयुद्ध के बीच शिवसेना ने स्वामी का समर्थन किया है। शिवसेना ने अपने मुखपत्र सामना के एक संपादकीय में कहा, हमें स्वामी के साथ एक जुड़ाव महसूस होता है क्योंकि वह हिन्दुत्व और भ्रष्टाचार के खिलाफ अपने रूख के लिए मशहूर हैं। सोनिया और राहुल गांधी को उनका दु:स्वप्न आता होगा। उनकी पहल के कारण ही टूजी स्पेक्टम और नेशनल हेराल्ड घोटाले सामने आए और उस समय भाजपा ने स्वामी का पूरी तरह इस्तेमाल किया था।
संपादकीय में कहा गया, अब अगर स्वामी अपने तरीके से कोई सच्चाई बयां कर रहे हैं तो भाजपा यह कहकर उससे पल्ला नहीं झाड़ सकती कि वे उनके व्यक्तिगत विचार हैं। शिवसेना ने जेटली पर निशाना साधते हुए कहा कि वह भले ही चतुर और सक्षम होंगे लेकिन एक वित्त मंत्री एक साथ हर किसी को खुश नहीं रख सकता। शिवसेना ने कहा, भ्रष्टाचार, महंगाई और काले धन की वजह से जो दरारें पैदा हुई हैं, उन्हें आसानी से नहीं भरा जा सकता। हमें नहीं पता कि अर्थव्यवस्था से जुड़े दो लोगों :रघुराम राजन और अरविंद सुब्रमण्यम: पर हमला कर स्वामी को क्या मिला। लेकिन उन्हें इस क्षेत्र का अच्छा ज्ञान है।
स्वामी से संबंधित पूरे मामले और इससे भाजपा में पैदा हुए हंगामे की तरफ इशारा करते हुए शिवसेना ने कहा कि अब किसी को भी उससे यह नहीं पूछना चाहिए कि वह क्यों सत्ता में होने के बावजूद राजग सरकार पर हमला करती है और इस तरह का रूख क्या किसी सत्तारूढ़ गठबंधन में शामिल दल के लिए उचित है।