चुनाव आयोग ने केन्द्रीय मंत्री मेनका गांधी और समाजवादी पार्टी के वरिष्ठ नेता आजम खान को विवादित बयान देने के मामले में मंगलवार से अलग अलग अवधि के लिये चुनाव प्रचार करने से रोक दिया है। यह पहला मौका है जब किसी केन्द्रीय मंत्री को प्रचार अभियान में हिस्सा लेने पर देशव्यापी रोक लगायी गयी है।
आयोग ने सोमवार को इस बारे में आदेश जारी कर मेनका गांधी को मंगलवार (16 अप्रैल) को सुबह दस बजे से अगले 48 घंटे तक देश में कहीं भी किसी भी प्रकार से चुनाव प्रचार में हिस्सा लेने से रोक दिया है। इसी तरह एक अन्य आदेश में आजम खान को भी मंगलवार सुबह दस बजे से अगले 72 घंटे तक चुनाव प्रचार करने से रोका गया है।
आयोग ने मेनका गांधी को 11 अप्रैल को सुल्तानपुर में एक नुक्कड़ सभा में एक संप्रदाय विशेष के बारे में की गयी विवादित टिप्पणी से आचार संहिता के उल्लंघन की शिकायत पर कार्रवाई करते हुये उक्त अवधि में प्रचार करने से रोका है।
इसी प्रकार आयोग ने आजम खान के भाजपा की प्रत्याशी जयाप्रदा के बारे में रविवार को दिये गये आपत्तिजनक बयान को चुनाव आचार संहिता उल्लंघन मानते हुये उन्हें इस रवैये पर कड़ी फटकार लगाते हुये अगले तीन दिन तक प्रचार करने से रोक दिया है।
आजम खान का विवादित बयान
रविवार को आजम खान ने जनसभा के दौरान जयाप्रदा का नाम लिए बिना एक विवादित बयान दे डाला। उन्होंने कहा, 'जिसको हम उंगली पकड़कर रामपुर लाए, आपने 10 साल जिससे अपना प्रतिनिधित्व कराया। उनकी असलियत समझने में आपको 17 बरस लगे, मैं 17 दिन में पहचान गया कि इनके नीचे का अंडरवियर खाकी रंग का है।' हालांकि, उन्होंने इस बयान में जयाप्रदा का नाम नहीं लिया था।
महिला आयोग ने दिखाई सख्ती
इस मामले पर महिला आयोग ने भी सख्ती दिखाई है। महिला आयोग ने इस पर संज्ञान लेते हुए आजम खान को नोटिस जारी किया। वहीं, राष्ट्रीय महिला आयोग (NCW) की अध्यक्ष रेखा शर्मा ने कहा, ‘वह हमेशा महिलाओं के बारे में गंदी बातें करते हैं और इस चुनाव में महिला राजनेताओं के खिलाफ यह उनकी दूसरी टिप्पणी है। राष्ट्रीय महिला आयोग ने स्वतः संज्ञान लिया है और उन्हें नोटिस भेज रहे हैं। हम चुनाव आयोग से भी कड़ी कार्रवाई करने के लिए कह रहे हैं, क्योंकि उनके सबक सीखने का वक्त आ गया है। अब उन्हें इसे रोकना ही होगा, महिला मतदाताओं को भी महिलाओं के साथ ऐसा बर्ताव करने वाले ऐसे लोगों के खिलाफ मतदान करना चाहिए।
अपने बयान पर आजम खान ने दी सफाई
उधर अपने बयान पर सफाई देते हुए आजम खान ने कहा कि मैंने किसी का नाम नहीं लिया है। मैं जानता हूं कि मुझे क्या कहना चाहिए। अगर कोई साबित कर देता है कि मैंने कहीं, किसी का नाम लिया है, किसी का अपमान किया है, तो मैं चुनाव नहीं लड़ूंगा।
आजम खान ने एएनआई से कहा कि 'मैं दिल्ली के एक व्यक्ति का जिक्र कर रहा था जो अस्वस्थ है, जिसने कहा था, ‘मैं 150 राइफलें लेकर आया था और अगर मैंने उस दिन आजम खान को देखा होता तो गोली मार देता।' उसके बारे में बात करते हुए, मैंने कहा, 'लोगों को जानने में काफी समय लगा और बाद में पता चला कि उसने आरएसएस के शॉर्ट्स पहने थे।'
जया प्रदा ने दिया जवाब
रामपुर लोकसभा सीट से बीजेपी के टिकट पर चुनाव लड़ रहीं जया प्रदा ने खुद आजम खान की टिप्पणी का जवाब दिया। उन्होंने कहा कि उनके लिए यह नई बात नहीं है। साथ ही जया ने कहा कि उन्हें नहीं पता कि उन्होंने उनके साथ ऐसा क्या कर दिया कि वे ऐसी बातें कर रहे हैं।
न्यूज एजेंसी एएनआई से बात करते हुए जयाप्रदा ने सोमवार को कहा, 'यह मेरे लिए नया नहीं है। आपको याद होगा कि मैं 2009 में उनके पार्टी की उम्मीदवार थी, जब उन्होंने मेरे खिलाफ टिप्पणी की तो किसी ने भी मेरा समर्थन नहीं किया। मैं एक महिला हूं और जो उन्होंने कहा वह मैं दोहरा भी नहीं सकती। मुझे नहीं पता कि मैंने उनके साथ क्या किया है, जो वे ऐसी बातें कह रहे हैं।'
क्या मैं मर जाऊं?
जया प्रदा ने आजम के बयान पर प्रतिक्रिया देते हुए यह भी कहा कि क्या मैं मर जाऊं, तब आप संतुष्ट होंगे? जया प्रदा ने निडरता दिखाते हुए कहा कि अगर आप ऐसा सोच रहे हैं कि आपकी इस टिप्पणी से डरकर मैं रामपुर सीट छोड़ दूंगी तो ऐसा नहीं है। मैं ये सीट नहीं छोड़ूगीं। आजम को सीधी चुनौती देते हुए कहा कि वह आजम के डर से रामपुर छोड़कर नहीं जाएंगी बल्कि उन्हें हराकर बताएंगी की जया प्रदा क्या है।
करवाई करें चुनाव आयोग और अखिलेश: कांग्रेस
कांग्रेस ने आजम खान की आपत्तिजनक टिप्पणी की निंदा करते हुए सोमवार को कहा इस पर चुनाव आयोग और सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव को आजम के खिलाफ कार्रवाई करनी चाहिए। पार्टी प्रवक्ता अभिषेक मनु सिंघवी ने ट्वीट कर कहा, 'जया प्रदा पर आजम खान की टिप्पणी का स्तर भद्दा और तुच्छ है। ऐसे बयान एक जीवंत लोकतंत्र के लिए अपमानजनक है। आशा करता हूं कि चुनाव आयोग और अखिलेश यादव इसका संज्ञान लेंगे तथा कार्रवाई सुनिश्चित करेंगे।'
साथ ही सिंघवी ने कहा, 'निश्चित तौर पर आजम खान का बयान निंदनीय है। राजनीति में उन लोगों के लिए कोई जगह नहीं है जो विरोधियों की आलोचना करते हुए मर्यादित विमर्श बरकरार नहीं रख सकते हैं।'