उत्तर प्रदेश में एक कार्यक्रम में हिस्सा लेने लखनऊ पहुंचे जदयू के पूर्व सांसद शरद यादव ने मंगलवार को सपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव से मुलाकात की। इस दौरान शरद यादव ने केन्द्र में सत्तारूढ़ भाजपा नीत राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) को डूबता जहाज करार देते हुए कहा कि उनका मानना है कि एक-एक करके उसके सभी घटक दल राजग से किनारा कर लेंगे।
पीटीआई के मुताबिक, यादव ने लखनऊ में संवाददाताओं से कहा कि राजग का एजेंडा विभाजनकारी रूप ले चुका है। शिव सेना के बाद तेलुगू देशम पार्टी (टीडीपी) भी राजग से अलग हो चुकी है। उनके ख्याल से अब राजग में कोई नहीं बचने वाला। पूर्व में राजग के संयोजक रह चुके यादव ने कहा कि पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी और उनके नायब लालकृष्ण आडवाणी के जमाने में राजग का राष्ट्रीय एजेंडा था, लेकिन अब वह तोड़फोड़ के एजेंडे में तब्दील हो चुका है। केन्द्र की मौजूदा सरकार धर्म के नाम पर देश को बांट रही है।
पूर्व सांसद ने राज्य के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ पर असंवैधानिक भाषा बोलने और संविधान की शपथ लेकर उसे चोट पहुंचाने का आरोप भी लगाया। उन्होंने कहा कि भाजपा के लोग देश को धर्म के नाम पर बांट रहे हैं। उन्होंने कहा कि गोरखपुर और फूलपुर लोकसभा उपचुनाव में भाजपा की हार तो महज ‘ट्रेलर’ है। पिक्चर अभी बाकी है।
लोकसभा चुनाव से पहले समान विचारधारा वाले दलों का गठबंधन तैयार करने के लिए देश का दौरा कर रहे यादव ने अखिलेश यादव से भेंट के बारे में कुछ बताने से इनकार कर दिया लेकिन यह जरूर कहा कि उनका मानना है कि संविधान को बचाना बहुत जरूरी है। इसके लिए बड़े पैमाने पर पार्टियां उनके साथ जुड़ रही हैं। वह जल्द ही बसपा प्रमुख मायावती से भी मिलेंगे।
जदयू पर अधिकार की कानूनी लड़ाई लड़ रहे यादव ने कहा कि उन्हें अपनी जीत का भरोसा है लेकिन फिर भी वह कोशिश कर रहे हैं कि उनकी पार्टी का कोई नया नाम मिल जाए।