फेफड़े के संक्रमण से जूझ रहे झारखंड के शिक्षा मंत्री जगरनाथ महतो की हालत गंभीर बनी हुई है। रिम्स ( राजेंद्र आयुर्विज्ञान संस्थान) रांची में दो-तीन दिनों तक इलाज के बाद वे पिछले कोई बीस दिनों से मेडिका में भर्ती हैं। लंग्स पहले से 80 फीसद संक्रमित था, अब संक्रमण और बढ़ गया है। शनिवार को मेदांता, दिल्ली के चिकित्सकों की टीम उनकी सेहत का हाल जानने रांची आने वाली थी, नहीं आई।
वीडियो कांफ्रेंसिंग से ही मशविरा दिया। मेडिका सूत्रों के अनुसार चिकित्सकों ने लंग्स ट्रांसप्लांट की राय दी है। उनके ऑक्सीजन का स्तर भी गड़बड़ है। लगातर एनआइवी पर उन्हें ऑक्सीजन का सपोर्ट दिया जा रहा है। हटाने पर ऑक्सीजन का स्तर पुन: गिर जा रहा है। पिछले दिन मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन और स्वास्थ्य मंत्री बन्ना गुप्ता उनका हाल जानने मेडिका गये थे। कहा था कि बाहर इलाज के लिए ले जाना चाहते थे, दो बार कोशिश की मगर उनकी हालत देख डॉक्टरों ने इसकी राय नहीं दी।
मुख्यमंत्री और स्वास्थ्य मंत्री के निर्देश पर ही मेदांता से चिकित्सकों को रांची बुलाया जाना था। मगर डॉक्टरों की टीम नहीं आई, वीडियो कांफ्रेंसिंग से ही उन्होंने हाल जाना और राय दी। चिकित्सकों ने खराब हालत को देखते हुए जगरनाथ महतो को वेंटिलेटर पर रखने का भी परामर्श दिया है। इधर
मुख्यमंत्री ने स्वास्थ्य मंत्री, मुख्य सचिव, मेडिका के चिकित्सकों और उनकी निगरानी कर रही रिम्स के डॉक्टरों की टीम से राय शुमारी की है कि जगरनाथ महतो के गिरते स्वास्थ्य के मद्देनजर क्या बेहतर पहल किया जाये। सांस लेने में तकलीफ के बाद सितंबर के अंतिम सप्ताह में उन्हें रिम्स में एडमिट किया गया था। जांच में वे कोरोना पॉजिटिव पाये गये थे। बता दें कि शिक्षा मंत्री जगरनाथ महतो करीब 25 साल बाद पुन: आगे की पढ़ाई के लिए इंटर में नामांकन को लेकर हाल ही चर्चा में आये थे।