कपिल मिश्रा ने आरोप लगाया कि नोटबंदी के बाद मनी लांड्रिंग के आरोप में दिल्ली के वकील रोहित टंडन की एक करोड़ रुपये की संपत्ति प्रवर्तन निदेशालय ने जब्त की थी। रोहित की ही कंपनी से आप ने पैसा लिया था। तब क्या केजरीवाल इसी के चलते नोटंबदी का विरोध कर रहे थे और क्यों पूरे देश में घूमकर उन्होंने नोटबंदी के खिलाफ अभियान चलाया क्योंकि उनके आदमी ने काला धन जमा कर रखा था और प्रवर्तन एजेंसियां छापा मार रही थीं। उन्होंने कहा कि केजरीवाल का कॉलर मेरे हाथ में है और वह जरूर तिहाड़ जाएंगे।
पूर्व मंत्री ने दावा किया कि जिन चार फर्जी कंपनियों का नाम सामने आया है उसमें मुकेश कुमार का लेना देना नहीं है। मुकेश को बलि का बकरा बनाया जा रहा है। आयकर विभाग व ईडी हेम प्रकाश शर्मा को ढूंढ रही है, जिन्हें बचाने का प्रयास किया जा रहा है। केजरीवाल में हिम्मत है तो वह पद छोड़कर जांच करवाएं। मालूम हो कि कल मुकेश नाम के दिल्ली के एक कारोबारी ने आप को चंदे के तौर पर रकम देने की बात एक न्यूज चैनल पर की थी।
इसके जबाव में आप नेता संजय सिंह ने आरोपों को खारिज करते हुए कहा कि पांच अप्रैल 2014 को ली गई जिस रकम को लेकर आरोप लगाए जा रहे हैं वह बाकायदा बैंक के जरिए ली गई थी। इसमें किसी तरह का गैर कानूनी काम नहीं किया गया। दो साल पहले के इस मामले में जांच एजेंसियां कुछ भी पता लगाने में क्यों नाकाम रही। आप के प्रवक्ता राघव चढ्ढा ने भी आरोपों को निराधार बताते हुए कहा कि 15 हजार लोग हमें हर साल चंदा देते हैं। चंदा देने वाली हर कंपनी की जांच करना हमारे लिए संभव नहीं है। भाजपा व कांग्रेस में गलत तरह से चंदा आता है जबकि हमारे यहां पारदर्शी सिस्टम है।