प्रधानमंत्री से मुलाकात के बाद महबूबा ने कहा कि यह बैठक राज्य के लोगों से जुड़े मुद्दों का निपटारा करने के संबंध में काफी सकारात्मक और अच्छी रही। महबूबा आज सुबह प्रधानमंत्री आवास गई और उनसे चर्चा की। इससे तीन दिन पहले राज्य में सरकार के गठन को लेकर पीडीपी और भाजपा के बीच बातचीत में गतिरोध उत्पन्न हो गया था और भाजपा के मुख्य वार्ताकार राम माधव ने घोषणा की थी कि उनकी पार्टी पीडीपी की कोई नई मांग नहीं मानेगी।
बहरहाल, प्रधानमंत्री के साथ महबूबा की मुलाकात 30 मिनट तक चली और इसके बाद उन्होंने सवाददाताओं से कहा, राज्य में सरकार के गठन को लेकर हम पिछले दो-तीन महीने से गतिरोध की स्थिति देख रहे हैं लेकिन आज मैं संतुष्ट हूं। मैं काफी संतुष्ट हूं। यह पूछे जाने पर कि क्या गतिरोध समाप्त हो गया, महबूबा ने कहा, जब आप देश के प्रधानमंत्री से मिलते हैं तब स्वाभाविक रूप से जम्मू कश्मीर के लोग जिन समस्याओं का सामना कर रहे हैं, उनका समाधान स्पष्ट होता है। पीडीपी प्रमुख श्रीनगर लौटेंगी जहां वह गुरुवार को पार्टी विधायकों को इस बैठक के बारे में जानकारी देंगी। उन्होंने कहा, मुझे पार्टी विधायकों ने निर्णय करने के लिए अधिकृत किया है। मैंने गुरुवार को बैठक बुलाई है और इसके बाद हम आगे के कदम की घोषणा करेंगे। राज्य में सरकार के गठन के बारे में महबूबा ने कहा, जैसा कि मैंने कहा कि मैं पार्टी के विधायकों से बात करूंगी क्योंकि इसके लिए वही मंच है। ऐसी घोषणा करने के लिए एक विशिष्ट स्थान होता है। मैं श्रीनगर जाऊंगी और अगला कदम उठाउंगी। वैसे अब यह तय माना जा रहा है कि पीडीपी-भाजपा गठबंधन फिर से राज्य में सरकार बनाने जा रहा है और सरकार का गठन होली के बाद हो सकता है। राज्य में 8 अप्रैल से पहले सरकार गठन की बाध्यता है, इसके बाद राज्यपाल को राज्य विधानसभा भंग करनी पड़ेगी।
महबूबा पिछले पांच दिनों में दूसरी बार नई दिल्ली आई हैं। इससे पहले गुरुवार को भाजपा अध्यक्ष अमित शाह के साथ उनकी बैठक में कोई नतीजा नहीं निकाला था। सूत्रों ने बताया कि महबूबा की आज सुबह अपनी पार्टी के वरिष्ठ नेताओं के साथ भी बैठक हुई जिसमें राज्य के पूर्व वित्त मंत्री हसीब दाबू भी शामिल थे। इस बैठक के दौरान प्रधानमंत्री के साथ होने वाली चर्चा के बिन्दुओं को अंतिम रूप दिया गया। राज्य की 87 सदस्यीय विधानसभा में पीडीपी के 27 सदस्य हैं जबकि भाजपा के 25 सदस्य हैं।
कांग्रेस ने पूछा, भाजपा संग बनी सहमति का खुलासा करें महबूबा
कांग्रेस ने जम्मू-कश्मीर में सरकार गठन पर देरी को पीडीपी द्वारा घाटी में लोगों का रुख भांपने की कोशिश करार देते हुए उस पर आज प्रहार किया और उसकी प्रमुख महबूबा मुफ्ती से यह स्पष्ट करने को कहा कि पीडीपी और भाजपा के बीच किन नए विश्वास बहाली उपायों पर सहमति बनी है। प्रदेश कांग्रेस प्रमुख जी.ए. मीर ने कहा, यह सरकार गठन से पहले भाजपा के सामने बतौर शर्त विश्वास बहाली उपायों के मुद्दे को लेकर पीडीपी द्वारा किया गया ड्रामा था। इसका लक्ष्य कश्मीर घाटी में लोगों का रुख भांपना था जहां वे अपनी जमीन गंवा चुके हैं। उन्होंने पीडीपी प्रमुख महबूबा मुफ्ती से उन विश्वास बहाली उपायों पर स्पष्टीकरण देने को कहा जिन पर भाजपा के साथ सहमति बनी है और जिनको लेकर उन्होंने जम्मू-कश्मीर में दो महीने से सरकार गठन में देरी की है।
 
                                                 
                             
                                                 
                                                 
                                                 
			 
                     
                    