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मणिपुर की राज्यपाल से मिले राहुल गांधी, बोले- राज्य को शांति की जरूरत, हिंसा से कभी कोई हल नहीं निकल सकता

हिंसा प्रभावित मणिपुर के दौरे पर आए कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने कहा कि यहां की स्थिति देखकर उनका...
मणिपुर की राज्यपाल से मिले राहुल गांधी, बोले- राज्य को शांति की जरूरत, हिंसा से कभी कोई हल नहीं निकल सकता

हिंसा प्रभावित मणिपुर के दौरे पर आए कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने कहा कि यहां की स्थिति देखकर उनका दिल टूट गया है। उन्होंने कहा कि मणिपुर को शांति चाहिए, हिंसा कोई उपाय नहीं है। राहुल गांधी ने शुक्रवार को मणिपुर की राज्यपाल अनुसुइया उइके से मुलाकात के बाद यह बयान दिया। उन्होंने यह भी कहा, "मुझसे जितना हो सकेगा, मैं मदद को तैयार हूं।"

राजभवन के बाहर संवाददाताओं से बात करते हुए राहुल गांधी ने कहा, "शांति के लिए जो भी आवश्यक होगा मैं उसके लिए तैयार हूं। मैं सभी से, मणिपुर के प्रत्येक व्यक्ति से राज्य में शांति बनाए रखने की अपील कर रहा हूं, हिंसा कभी भी कोई रास्ता नहीं हो सकती, मणिपुर को अभी शांति चाहिए। मैंने राहत शिविरों का दौरा किया है। कहीं पर दवाइयों की कमी है, मुझे विश्वास है कि सरकार इन कमियों को दूर करेगी।"

कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने शुक्रवार को कहा कि जब वह मणिपुर में हिंसा से प्रभावित लोगों से मिले तो उनका दिल टूट गया। अपने एक इंस्टाग्राम पोस्ट में, पूर्व कांग्रेस सांसद ने कहा, “मणिपुर में हिंसा के कारण जिन लोगों ने अपने प्रियजनों और घरों को खो दिया है, उनकी दुर्दशा को देखना और सुनना दिल दहला देने वाला है। मुझसे मिलने वाले हर भाई, बहन और बच्चे के चेहरे पर मदद की पुकार है।"

संघर्ष प्रभावित राज्य में लोगों से शांति की अपील करते हुए राहुल ने कहा, "मणिपुर को अब सबसे महत्वपूर्ण चीज शांति की जरूरत है - हमारे लोगों के जीवन और आजीविका को सुरक्षित करने के लिए...हमारे सभी प्रयासों को एकजुट होना होगा।" कांग्रेस ने कहा कि राज्यपाल ने प्रदेश में शांति व्यवस्था बनाए रखने के लिए प्रभावी कदम उठाने के लिए आश्वस्त किया है।

इससे पहले दिन में राहुल गांधी ने यहां मणिपुर नागरिक समाज संगठनों के सदस्यों से मुलाकात की और उनकी समस्याएं सुनीं। उन्होंने मणिपुर इंटीग्रिटी पर समन्वय समिति (CoCoMI), एक नागरिक समाज संगठन, यूनाइटेड नागा काउंसिल के प्रतिनिधियो, नागा समुदाय की सर्वोच्च संस्था, अनुसूचित जनजाति मांग समिति और जेएनयू के प्रोफेसर बिमोल ए सहित प्रमुख हस्तियों से मुलाकात की।

पार्टी अधिकारियों ने बताया कि गांधी ने बिष्णुपुर जिले के मोइरांग में दो राहत शिविरों का भी दौरा किया। उन्होंने लोगों की समस्याएं सुनीं। पार्टी ने कहा कि दोनों शिविरों में मिलाकर कुल 1000 लोग ठहरे हुए हैं। गांधी के साथ मणिपुर के पूर्व मुख्यमंत्री ओकराम इबोबी सिंह, पार्टी महासचिव (संगठन) केसी वेणुगोपाल, पीसीसी अध्यक्ष कीशम मेघचंद्र सिंह और पूर्व सांसद अजय कुमार भी थे।

उन्होंने आईएनए युद्ध स्मारक का दौरा किया और उन स्वतंत्रता सेनानियों को पुष्पांजलि अर्पित की जिन्होंने 1944 में यहां भारतीय ध्वज फहराया था। गुरुवार को उन्होंने चुराचांदपुर में राहत शिविरों का दौरा किया था। यात्रा के दौरान राहुल गांधी के काफिले को बिष्णुपुर में स्थानीय पुलिस ने रोक दिया था, इस डर से कि काफिले पर हमले हो सकते हैं। हालांकि, बाद में राहुल गांधी वापस लौटे और हेलीकॉप्टर से चुराचांदपुर के लिए उड़ान भरी। बता दें कि वह दो दिवसीय मणिपुर दौरे पर हैं।

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