साहित्य साक्षी भाव से नहीं सृजन से बनता है् सन 2014 का साहित्य अकादमी पुरस्कार वरिष्ठ कथाकार, कवि, निबंधकार, और चिंतक डॉ. रमेशचंद्र शाह को दिए जाने की घोषणा हुई है। JAN 21 , 2015
थाली हुई दादी-नानी की कहानी बाजार अब रेडी-टू-ईट यानि फटाफट खाद्य पदार्थों से भरा पड़ा है। मुंबई का बड़ा-पाव से लेकर कुछ भी घर लाओ, गरम करो और खाओ। फ्रोजन मार्केट यानि बर्फ में जमाई खाद्य सामग्री का बाजार तेजी से बढ़ रहा है। JAN 08 , 2015