अपने आखिरी ओलंपिक में भाग लेने की तैयारियों में जुटे लंदन ओलंपिक के कांस्य पदक विजेता योगेश्वर रियो डि जनेरियो में 65 किग्रा भार वर्ग में भाग लेंगे। योगेश्वर ने भारतीय ओलंपियन्स संघ (ओएआई) के लांच के अवसर पर कहा, यह मेरा चौथा और आखिरी ओलंपिक होगा और इसलिए मैं स्वर्ण पदक जीतने के लिये कड़ी मेहनत कर रहा हूं।
हरियाणा के गोहाना का रहने वाला यह 33 वर्षीय पहलवान जानता है कि लोगों ने उनसे क्या उम्मीद लगा रखी है। रियो जाने वाला भारतीय दल आज सुबह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मिला जिन्होंने उन्हें शुभकामनाएं दी। अगस्त में होने वाले खेल महाकुंभ से पहले प्रधानमंत्री से मुलाकात के बारे में योगेश्वर ने कहा, प्रधानमंत्री से मुलाकात बहुत अच्छी रही। ऐसा पहले कभी नहीं हुआ इसलिए हम सभी का इससे बहुत उत्साह बढ़ा है। मानेकशा केंद्र में आयोजित कार्यक्रम में प्रधानमंत्री मोदी ने प्रत्येक खिलाड़ी से बात की और उन्हें पांच से 21 अगस्त तक होने वाले खेलों के लिये शुभकामनाएं दी।
दो बार के ओलंपिक पदक विजेता सुशील कुमार और रियो की तैयारियों में जुटे नरसिंह पंचम यादव के बाद 74 किग्रा में भागीदारी को लेकर चले विवाद पर योगेश्वर ने कहा कि यह सब देश से जुड़ा है हालांकि इससे ध्यान भंग हुआ। अपनी तैयारियों के बारे में उन्होंने कहा, मैं दिन में पांच से छह घंटे अभ्यास कर रहा हूं जिसमें जिम में बिताया समय भी शामिल है। मैं रियो के अनुभव को यादगार बनाना चाहता हूं। एशियाई और राष्ट्रमंडल खेलों के स्वर्ण पदक विजेता ने कहा, मेरे अब तक पांच आपरेशन हो चुके हैं लेकिन जहां तक तैयारियों की बात है तो मैं अब भी अपना सर्वश्रेष्ठ करता हूं। हमसे काफी उम्मीद लगायी गयी है और दबाव है लेकिन हम इससे निबटने और दबाव में भी अच्छा प्रदर्शन करने में सक्षम हैं। योगेश्वर से पूछा गया कि क्या वह रियो के बाद संन्यास ले लेंगे तो उन्होंने 2018 तक खेलते रहने की संभावना से इन्कार नहीं किया। उन्होंने कहा, यह मेरी फिटनेस पर निर्भर करता है। यदि मैं फिट रहा तो 2018 तक खेलता रहूंगा।
उन्होंने कहा कि संन्यास लेने के बाद उनकी योजना अपने गांव के करीब कुश्ती अकादमी खोलने की है। इस बीच विश्व चैंपियनशिप के रजत पदक विजेता और एशियाई खेलों के स्वर्ण पदक विजेता निशानेबाज जीतू राय ने कहा कि उन्होंने फिर से लय हासिल कर ली है। उन्होंने कहा, आखिरी विश्व कप में पदक जीतना बहुत महत्वपूर्ण था। जहां तक कुछ चीजों की बात है तो मैंने कुछ लय खो दी थी लेकिन उस पदक से मैंने लय हासिल कर ली है। जीतू ने बाकू, अजरबैजान में पिछले विश्व कप में एयर पिस्टल में रजत पदक जीता था। उन्होंने कहा, मैं मानसिक और शारीरिक तौर पर फिट रहने पर भी काफी ध्यान दे रहा हूं। मुझ पर पर दबाव है और महत्वपूर्ण यही है कि आप दबाव कैसे झेलते हो।