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ग्रह तो हिलेरी के पक्ष में

व्हाइट हाउस की दौड़ में बहस के बीच हिलेरी के सितारे मजबूत
डोनाल्ड ट्रंप और हिलेरी क्लिंटन

पूरा विश्व अमेरिका के राष्ट्रपति चुनाव का अब तक का सबसे खराब प्रचार अभियान देख रहा है। लोगों में इस बात को लेकर कोई मतभेद नहीं है कि इस बार का चुनाव बुरे और अधिक बुरे के बीच है। चलिए इन दो महान हस्तियों के पक्ष-विपक्ष या कुंडली की तुलना करते हैं क्योंकि इनमें से एक कम से कम अगले चार साल के लिए संयुक्त राज्य अमेरिका के भविष्य को आकार देने जा रहा है। दोनों की जन्म और कुंडली का विवरण निम्नानुसार है- डोनाल्ड ट्रंप का जन्म 14 जून 1946 को 10.54 मिनट पर न्यूयॉर्क के जमैका में हुआ था। उनके जन्म के समय ग्रह विन्यास इस प्रकार थे, मंगल-सिंह, बृहस्पति, नेप्च्यून-कन्या, चंद्रमा, केतु- वृश्चिक, सूर्य, राहु, यूरेनस-वृषभ, बुध-मिथुन और शुक्र, शनि, प्लूटो कर्क में।
डोनाल्ड ट्रंप जब पैदा हुए तब सिंह लग्न पूर्बी क्षितिज पर चमक रहा था और योगकर्क (महत्वपूर्ण) मंगल ग्रह खूबसूरती से लग्न में बैठा था। सिंह लग्न के लिए मंगल सबसे लाभकारी और सशक्त ग्रह है। लग्न का स्वामी सूर्य खूबसूरती से 10 वें स्थान पर स्थित है और इसने उन्हें जीवन के शिखर तक पहुंचने में मदद की है। दुर्भाग्य से अपने अग्रिम विस्तार और हानिकर राहु से पीड़ित यह सूर्य अंतिम मुहाने पर है। ऐसी स्थिति में व्यक्ति की उपलब्धियां मुकम्मल नहीं हो सकतीं। शनि और शुक्र 12 वें स्थान पर विराजमान हैं। यह शनि के लिए बहुत अच्छा स्थान नहीं है। दूसरे स्थान पर बृहस्पति ने उन्हें अकूत धन और 11 वें स्थान पर बुध ने उन्हें बड़ा लाभांश दिया है। शक्तिहीन चंद्रमा चौथे स्थान पर केतु से पीड़ित है। कुछ राजनीतिक पंडित उनकी विवेकशीलता को लेकर निश्चिंत नहीं हैं।
हिलेरी क्लिंटन का जन्म 26 अक्टूबर 1947 को 20.00 बजे इलिनोइस (यूएसए) के शिकागो में हुआ था। उनके जन्म के समय मिथुन लग्न पूर्बी क्षितिज पर चमक रहा था और ग्रह विन्यास इस प्रकार था- यूरेनस- लियो, मंगल, शनि, प्लूटो- कर्क, नेपच्यून-कन्या, सूर्य, बुध, शुक्र-तुला, बृहस्पति, केतु-वृश्चिक, चंद्रमा-मीन और कन्या राशि में राहु। हिलेरी के जन्म के समय पूर्बी क्षितिज पर बढ़ रहे मिथुन लग्न का स्वामी बुध अच्छी तरह से शुक्र और सूर्य के साथ पांचवीं कक्षा में था। पांचवां स्थान बहुत कुछ परिलक्षित करता है। पांचवीं कक्षा में एक साथ तीन ग्रहों का होना शक्तिशाली राजयोग बनाता है। बुध ग्रह प्रतिगामी है। जब भी लग्न का स्वामी प्रतिगामी होता है तो यह व्यक्ति के जीवन में उसके खुद के कार्यों या उसके रिश्तेदारों की हरकतों की वजह से बहुत सारी भ्रम की स्थिति पैदा करता है। दूसरे स्थान पर शक्तिहीन मंगल और शनि का होना भी परिवार (पति पढ़ें) और पैसे से संबंधित विवाद पैदा करता है। बृहस्पति और केतु का छठे स्थान पर होना अच्छा नहीं है। सांतवें स्थान का स्वामी बृहस्पति बताता है कि खुशी और गम के एक समान स्रोत उनके पति हैं। उनका चंद्रमा 10 वें स्थान पर है और राहु ने 12 वें घर पर स्थान जमाया है। सौभाग्य से उनके लिए बृहस्पति का रुझान चंद्रमा, राहु, मंगल और शनि ग्रह की ओर है। लेकिन चंद्रमा केमद्रम (बुरा) योग में है जिसका अर्थ है कि व्यक्ति समय-समय पर गलत सलाह या लोगों से प्रभावित हो सकता है।
चुनाव के परिणाम:
ट्रंप के चार्ट में राहु-मंगल 14/11/2016 तक क्रियाशील हैं। इसके साथ ही राहु की 18 वर्षों की महादशा का अंत हो जाएगा। ट्रंप का चार्ट बहुत अच्छा है लेकिन लग्न का स्वामी सूर्य जो शीर्ष स्थान दिलाता है, बुरी तरह से राहु से पीड़ित है, जो इस समय क्रियाशील है। जब लग्न का स्वामी बुरी तरह राहु से प्रभावित हो तो एक व्यक्ति शिखर को छूने से पहले गिर जाता है और ज्योतिष में यह एक महान गिरावट के रूप में जाना जाता है।
हिलेरी के चार्ट में चंद्रमा-बृहस्पति-चंद्रमा 21/11/2016 तक क्रियाशील है। पेशे के स्थान पर चंद्रमा बृहस्पति का साथ पा रहा है जो उन्हें ट्रंप के खिलाफ एक भारी जीत सुनिश्चित करता है। चंद्रमा की महादशा 2022 तक क्रियाशील है। इसी दौरान वह संयुक्त राज्य अमेरिका के राष्ट्रपति का अपना पहला कार्यकाल पूरा करेंगी। चंद्रमा, केमद्रम (नकारात्मक) योग में शामिल है। यह योग तब बनता है जब चंद्रमा के दोनों ओर कोई ग्रह न हो और चंद्रमा अलगाव में हो। इस वजह से राष्ट्रपति पद उनके लिए इतना आसान नहीं होगा। चंद्रमा दूसरे स्थान का स्वामी है जो शक्तिहीन मंगल और शनि के कब्जे में है। कुल विन्यास यह बताते हैं कि हिलेरी कुछ ऐसे बयान देंगी या निर्णय लेंगी जो राजनीतिक रूप से सही नहीं होंगे। अपने राष्ट्रपति काल के मध्य में घरेलू के साथ कुछ अंतरराष्ट्रीय मुद्दों पर उनकी कथनी चिंता का एक कारण हो सकती है। हिलेरी क्लिंटन के कार्यकाल में अमेरिका की अंतरराष्ट्रीय नीतियां एक बड़े बदलाव के दौर से गुजरेंगी।
(लेखक प्रसिद्ध ज्योतिषाचार्य हैं।)

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