लगी तो थी वह मामूली छेड़छाड़ और मारपीट की घटना। मगर चर्चित अभिनेत्री का मामला होने के नाते सुर्खियां चीखने लगीं तो मुख्यमंत्री पिनाराई विजयन भी शुरू में किसी साजिश के अंदेशे को खारिज कर चुके थे। लेकिन मलयाली फिल्मों के सुपरस्टार दिलीप की गिरफ्तारी से पूरे केरल में सनसनी फैल गई। पुलिस के मुताबिक उसने अभिनेत्री को सबक सिखाने के मकसद से इसकी साजिश रची थी। सुपर स्टार के खिलाफ लोगों का गुस्सा फूट पड़ा।
वाकया फरवरी का है। अभिनेत्री त्रिशूर में शूटिंग के बाद रात को लौट रही थी। रास्ते में सुनील कुमार उर्फ पल्सर सुनी नाम के एक शख्स के साथ तीन-चार गुंडे जबरन उसकी कार में घुस गए। अभिनेत्री के साथ छेड़छाड़ की गई और कुछ आपत्तिनक तस्वीरें खींची गईं। बाद में उसे कोच्चि के पास छोड़ कर गुंडे भाग गए। अभिनेत्री ने वहां फिल्म निर्माता-निर्देशक लाल के यहां शरण ली और पुलिस में शिकायत भी की। विधायक पी.डी. थॉमस की मदद भी उसे मिली। पुलिस ने फौरन ड्राइवर और दो-तीन गुंडों को गिरफ्तार भी कर लिया। लेकिन मुख्य आरोपी पल्सर सुनी बच निकला। छह दिन बाद पल्सर सुनी आत्मसमर्पण करने के लिए अदालत में पहुंचा तो पुलिस ने उसे गिरफ्तार कर लिया।
सोशल मीडिया से लेकर चारों तरफ यही चर्चा थी कि यह सामान्य वारदात तो नहीं है, लेकिन साजिश के सूत्र खुल नहीं रहे थे। सोशल मीडिया पर लगातार यह आशंका जताई जा रही थी कि घटना के पीछे मलयालम के प्रमुख अभिनेता दिलीप का हाथ है। इस पर खुद दिलीप ने सफाई दी कि उसका इससे कोई ताल्लुक नहीं है। इस बीच, पल्सर सुनी ने जेल में बंद दूसरे कैदियों की मदद से एक फोन और सिम हासिल किया और दिलीप के दोस्त फिल्मकार नादिरशा तथा मैनेजर अप्पुण्णी को फोन किया। उसने डेढ़ लाख रुपया मांगते हुए दिलीप को पत्र भी लिखा। दिलीप ने इसकी पुलिस से शिकायत की कि उसे ब्लैकमेल किया जा रहा है। लेकिन पुलिस ने कोई मामला दर्ज नहीं किया। उसकी जांच-पड़ताल और पूछताछ जारी रही। पुलिस को पल्सर सुनी के सहकैदियों से भी कुछ सूचनाएं मिलीं। इस आधार पर पुलिस ने दिलीप, नादिरशा और अप्पुण्णी से आलुवा पुलिस क्लब में पूछताछ की।
हाइप्रोफाइल मामला होने के नाते उस वक्त गिरफ्तारी नहीं हो सकी। लेकिन पुलिस और सबूत जुटाने में लगी रही। 10 जुलाई को इन तीनों को फिर से बुलाया गया। सुबह से शाम तक दिलीप से पूछताछ की गई और शाम को साढ़े छह बजे अभिनेता की गिरफ्तारी हुई। पुलिस ने पांच आधारों पर उसे गिरक्रतार किया। ये आधार थे फोन का सिम दिलीप के रिश्तेदार को सौंपा जाना, पल्सर सुनी के फोन से उसका सीधा संबंध, दिलीप के रिश्तेदारों की फोन पर बातचीत, कैदियों का पुलिस से खुलासा, फिर गवाहों के बयानों में विरोधाभासी बातें।
गिरफ्तारी की खबर आने पर दिलीप के खिलाफ राज्य के विभिन्न हिस्सों में लोगों का गुस्सा फूट पड़ा। उसके थिएटर, होटल पर पथराव हुआ। इस विरोध प्रदर्शन में भारतीय जनवादी नौजवान सभा, युवक कांग्रेस जैसे संगठन शामिल हैं। गिरफ्तारी के बाद दिलीप को अंगमाली की अदालत में पेश किया गया जहां से 14 दिन की न्यायिक हिरासत में भेज दिया।
दिलीप ने पुलिस से कहा है कि अभिनेत्री उसके पारिवारिक मामलों में दखल देती थी और यही उसके प्रति दुश्मनी का कारण है। पुलिस ने कहा कि 2013 में ही कोच्चि में एक होटल में साजिश की शुरुआत हुई थी। पुलिस के मुताबिक पहले भी दो बार हमले की साजिश रची गई लेकिन सफल नहीं हुई। मौजूदा वारदात की तैयारियां एक साल पहले ही शुरू हुईं थीं।
दरअसल मामला कुछ ऐसा है कि दिलीप की पहली पत्नी मंजू वार्थक मलयालम की प्रमुख अभिनेत्री है। उन्हें दिलीप ने तलाक दिया और एक दूसरी प्रमुख अभिनेत्री काण्या माधवन से शादी की। मंजू और हमले की शिकार अभिनेत्री में गाढ़ी दोस्ती थी। मंजू ने ही सबसे पहले अभिनेत्री की मदद के लिए आयोजित फिल्मी कलाकारों के एक सम्मेलन में इस घटना में साजिश होने का आरोप लगाया था। यानी इंतकाम की आग ने सुपरस्टार को जेल की हवा खिला दिया।