अलविदा दानिश
उनकी तस्वीरें हजार शब्दों से भी ज्यादा मुखर हैं। पुलित्जर पुरस्कार विजेता भारतीय फोटो पत्रकार दानिश सिद्दीकी की अफगानिस्तान के कंधार प्रांत में अफगान बलों और तालिबान के बीच संघर्ष में मौत उस सच का नुकसान है, जो वे अपने कैमरे के जरिये सबके सामने लाते थे। अफगान सुरक्षा बलों के साथ एक रिपोर्टिंग असाइनमेंट कर रहे दानिश की मौत की जानकारी अफगानिस्तान के राजदूत फरीद ममुंडजे ने दी। अफगानिस्तान के टोलो न्यूज चैनल ने सूत्रों के हवाले से बताया कि सिद्दीकी की मौत या हत्या कंधार के स्पिन बोल्डक जिले में हुई थी। जानकारी के अनुसार सिद्दीकी ने हाल ही में एक पुलिसकर्मी को बचाने के लिए अफगान विशेष बलों द्वारा चलाए जा रहे मिशन को कवर किया था। उसके बाद से ही वे आतंकवादियों के निशाने पर थे। उनकी रिपोर्ट में अफगान बलों के वाहनों को रॉकेट से निशाना बनाए जाने की ग्राफिक छवियां शामिल थीं। उन्होंने जामिया मिल्लिया इस्लामिया से पढ़ाई की थी। उनका शव भारत आने के बाद उन्हें दफनाया गया। उनके चाहने वाले हजारों लोगों ने नम आंखों से उन्हें विदाई दी। इससे पहले भी रिपोर्टिंग के दौरान वे घायल हो गए थे। तब उनकी बांह में छर्रा लगने से वे जख्मी हुए थे। 2018 में रोहिंग्याओं के दर्द को तस्वीरों के जरिये दिखाने के लिए उन्हें पुलित्जर पुरस्कार से नवाजा गया था।
हाइप्रोफाइल एफआइआर
पटना के गर्दनीबाग स्थित एससी-एसटी थाने में पूर्व गृह सचिव और बीएसएससी घोटाले के आरोपी, 1988 बैच के आइएएस सुधीर कुमार जब एक एफआइआर कराने पहुंचे, तो थानेदार चुपचाप खिसक लिए। चार घंटे बाद भी एफआइआर दर्ज नहीं हुई। मार्च में भी वे एफआइआर दर्ज कराने शास्त्रीनगर थाने गए थे, लेकिन आवेदन पर मुहर लगा कर उन्हें वापस दे दिया गया था। गर्दनीबाग थाने के थानेदार का कहना है कि उन्हें अंग्रेजी नहीं आती इसलिए एफआइआर दर्ज नहीं कर सके। सुधीर कुमार 2014 में जब बीएसएससी के अध्यक्ष थे तब इंटर स्तरीय संयुक्त परीक्षा का पेपर लीक हो गया था। उन्हें निलंबित कर गिरफ्तार किया गया और तीन साल से ज्यादा की सजा हुई थी। सुधीर बीएसएससी के अलावा गृह विभाग के प्रधान सचिव रह चुके हैं। अब मुख्यमंत्री नीतीश कुमार, डीआइजी मनु महाराज समेत कई बड़े नामों के खिलाफ एफआइआर कराना चाहते हैं। उनका कहना है कि उनके पास जालसाजी, झूठे कागजात बनाने और जाली एविडेंस जैसे मामले हैं। लेकिन इतने बड़े नाम देखकर ही थानेदार के होश उड़ गए और थानेदार साहब गायब हो गए। हालांकि सुधीर कुमार का कहना है कि जब तक प्राथमिकी दर्ज नहीं हो जाती वे पूरा मामला नहीं बता सकते।
कांवड़ पुराण
सावन में कांवड़ यात्रा खासकर उत्तराखंड के हरिद्वार और पश्चिमी उत्तर प्रदेश के काफी बड़े इलाके से होकर दिल्ली और हरियाणा तक पिछले कुछ दशकों से खासा लोकप्रिय धार्मिक आयोजन बना हुआ है। लेकिन दो वर्षों से कोविड की वजह से यह मुल्तवी की जाती रही है। इस वर्ष दूसरी लहर की भयावहता और तीसरी लहर की आशंका से इसका आयोजन और जोखिम भरा था। उत्तराखंड के नए मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने तो कांवड़ यात्रा मुल्तवी करने का फैसला जारी कर दिया, लेकिन चुनावी वर्ष में उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री आदित्यनाथ इसे जारी रखने पर अड़े हुए थे। यही रुख हरियाणा के मुख्यमंत्री का भी था। लेकिन सुप्रीम कोर्ट के सख्त आदेश के बाद इसे टालना पड़ा। पिछले कुछ वर्षों में कांवडि़ए तिरंगे के साथ चलने लगे हैं, जो भाजपा को अपने पक्ष में हवा बनाने का कारगर अस्त्र लगता है।
इस गली में न रखेंगे कदम
रजनीकांत पर बनने वाले हर चुटकुले, मीम की एक ही थीम होती है, रजनी कुछ भी कर सकते हैं। लेकिन वे राजनीति नहीं कर सकते। उन्होंने अपनी पार्टी रजनी मक्कल मंद्रम को खत्म करने की घोषणा की, तो उनके प्रशंसकों के लिए वह किसी सदमे से कम नहीं था। रजनी ने कहा कि अब वो राजनीति में कभी कदम नहीं रखेंगे। पार्टी खत्म होने के बाद अब यह संगठन रजनी रसीगर नरपानी मंदराम नाम से जनता की भलाई के लिए काम करेगा। दिसंबर 2020 में रजनी ने राजनीति में न आने का एलान किया था। लेकिन अब पार्टी खत्म कर उन्होंने वापसी की संभावना को हमेशा के लिए खत्म कर दिया है। इससे पहले दिसबंर 2020 में तमिलनाडु विधानसभा चुनाव से पहले रजनीकांत ने राजनीतिक पार्टी लॉन्च करने की बात की थी। लेकिन दिसंबर के आखिरी हफ्ते में ही उन्होंने यू-टर्न ले लिया था और कहा था कि वे राजनीति में नहीं आएंगे। हालांकि उसके बाद उन्होंने रजनी मक्कल मंद्रम पार्टी लांच की थी।
बीच बहस में
अमर्त्य सेन
नोबेल विजेता अमर्त्य सेन का संस्मरण होम इन द वर्ल्ड जल्द ही पाठकों के बीच होगा। इसमें उन्होंने बताया है कि कैसे रवींद्रनाथ टैगोर ने उन्हें अमर्त्य नाम दिया था। इस पुस्तक में कोलकाता के प्रसिद्ध कॉफी हाउस और कैम्ब्रिज की यादें भी हैं।
राज कुंदरा
अभिनेत्री शिल्पा शेट्टी के पति, कारोबारी 45 वर्षीय राज कुंदरा को मुंबई पुलिस ने पोर्नोग्राफी फिल्में बनाने और उन्हें मोबाइल ऐप पर सार्वजनिक करने के आरोप में गिरफ्तार किया। आइपीएल की राजस्थान रॉयल्स टीम के साथ भी जुड़े रहे कुंदरा पर मैच फिक्सिंग जैसे आरोप भी लग चुके हैं।
एल. मुरुगन
भाजपा की तमिलनाडु इकाई के अध्यक्ष रहे एल. मुरुगन को मोदी मंत्रिमंडल में राज्यमंत्री के रूप में जगह मिली है। उनके माता-पिता दिहाड़ी मजदूर हैं। उन्हें बेटे पर गर्व है लेकिन कहते हैं कि हमने उसके करिअर के लिए कुछ नहीं किया। मुरुगन दलित हैं और अरुणथातियार समुदाय से आते हैं।
“मेरा राजनीतिक संघर्ष 50 वर्षों से अधिक का है लेकिन जब अपनी पार्टी को 25वें वर्ष में प्रवेश करते देखता हूं तो सुकून मिलता है। सुकून सच्चाई और ईमानदारी से गरीबों, पिछड़ों, दलितों, शोषितों और वंचितों की आवाज उठाने और उनके हक के लिए संघर्ष में जीवन बिताने का।”
लालू प्रसाद यादव, प्रमुख, राष्ट्रीय जनता दल