पाकिस्तान के अशांत बलूचिस्तान प्रांत में मंगलवार को एक ट्रेन पर बंदूकधारियों ने गोलीबारी की जिसमें कई रेल यात्री घायल हो गए। इस घटना के बाद प्रांतीय सरकार ने अधिकारियों को ‘आपातकालीन कदम’ उठाने का निर्देश दिया है।
बलूचिस्तान लिबरेशन आर्मी (बीएलए) ने हमले की जिम्मेदारी लेते हुए दावा किया कि उसने ट्रेन को बेटपरी कर उसपर कब्जा कर लिया, छह सुरक्षाकर्मियों की हत्या कर दी और सक्रिय ड्यूटी कर्मियों सहित 100 से ज्यादा यात्रियों को बंधक बना लिया है। हालांकि, उनके दावे की कोई स्वतंत्र पुष्टि नहीं हो सकी है। खबरों के मुताबिक, अब तक 20 लोगों की मौत हो चुकी है।
आधिकारिक तौर पर हताहतों की संख्या की जानकारी नहीं दी गई है, लेकिन सुरक्षा सूत्रों ने बताया कि गोलीबारी में ट्रेन चालक और कई यात्री घायल हुए हैं।
बलूचिस्तान सरकार के प्रवक्ता शाहिद रिंद ने कहा, ‘‘क्वेटा से पेशावर जा रही जाफर एक्सप्रेस पर पीरू कोनेरी और गुदलार के बीच भारी गोलीबारी की खबरें हैं।’’
रिंद के मुताबिक बचाव दल और सुरक्षा बल घटनास्थल पर पहुंच गए हैं और हमलावरों की तलाश के लिए अभियान चलाया जा रहा है। स्थानीय अस्पतालों में आपातकाल घोषित कर दिया गया है।
सुरक्षा सूत्रों ने बताया कि आखिरी आतंकवादी को मार गिराए जाने तक अभियान जारी रहेगा। रेलवे अधिकारियों ने पुष्टि की है कि ट्रेन का चालक गंभीर रूप से घायल हुआ है और मदद के लिए आपातकालीन राहत ट्रेन भेजी गई है।
रेलवे नियंत्रक मुहम्मद कासिफ ने बताया है कि नौ डिब्बों वाली इस ट्रेन में करीब 500 यात्री सवार थे। उन्होंने कहा, ‘‘ट्रेन को सुरंग संख्या 8 में हथियारबंद लोगों ने रोक दिया। ’’
पाकिस्तान रेलवे के मुताबिक इस रेलमार्ग पर 17 सुरंगें हैं और दुर्गम इलाका होने के कारण ट्रेन की गति अक्सर धीमी रहती है।
बलूचिस्तान सरकार ने स्थानीय अधिकारियों को ‘‘आपातकालीन कदम’’ उठाने का निर्देश दिया है। प्रांतीय सरकार के एक बयान में कहा गया है कि सिबी अस्पताल में आपातकाल लागू कर दिया गया है और एंबुलेंस और सुरक्षा बल घटनास्थल पर पहुंच रहे हैं।
पाकिस्तान के गृह मंत्री मोहसिन नकवी ने घटना की निंदा करते हुए कहा, ‘‘बेगुनाह यात्रियों पर गोली चलाने वाले दरिंदे किसी भी रियायत के हकदार नहीं हैं।’’
पूर्व में भी इस रेलखंड पर बलूच आतंकवादियों द्वारा रॉकेट या रिमोट-नियंत्रित बमों का उपयोग करके हमला किया गया था। अधिकांश हमलों की जिम्मेदारी बीएलए ने ली थी।
पिछले वर्ष अक्टूबर में पाकिस्तान रेलवे ने डेढ़ महीने से अधिक समय के निलंबन के बाद क्वेटा और पेशावर के बीच रेल सेवाएं बहाल करने की घोषणा की थी।
बलूचिस्तान में पिछले एक साल में आतंकवादी हमलों में वृद्धि देखी गई है। नवंबर 2024 में क्वेटा रेलवे स्टेशन पर हुए आत्मघाती धमाके में कम से कम 26 लोग मारे गए थे और 62 अन्य घायल हुए थे।
तेल और खनिज संपन्न बलूचिस्तान, पाकिस्तान का क्षेत्रफल के हिसाब से सबसे बड़ा लेकिन सबसे कम आबादी वाला प्रांत है।
ईरान और अफगानिस्तान की सीमा से लगा बलूचिस्तान लंबे समय से हिंसक अलगाववाद से जूझ रहा है। बलूच विद्रोही समूह अक्सर सुरक्षा कर्मियों, सरकारी परियोजनाओं और क्षेत्र में 60 अरब अमेरिकी डॉलर की लागत वाली चीन-पाकिस्तान आर्थिक गलियारा (सीपीईसी) परियोजनाओं को निशाना बनाकर हमले करते रहते हैं