श्रीलंका में लंबे समय से जारी राजनीतिक और आर्थिक उथल-पुथल के बीच पिछले दिनों पूर्व राष्ट्रपति गोटबाया राजपक्षे देश छोड़कर भाग गए और इधर श्रीलंका में एक नई सरकार चुनी गई। राजपक्षे सिंगापुर पहुंच तो गए लेकिन उनकी मुसीबतें कम होने का नाम नहीं ले रही हैं। इसी बीच उनके खिलाफ सिंगापुर में एक आपराधिक शिकायत दर्ज कराई है। इसमें उनकी गिरफ्तारी की मांग है।
दक्षिण अफ्रीका के एक मानवाधिकार समूह ने श्रीलंका के पूर्व राष्ट्रपति गोटबाया राजपक्षे की गिरफ्तारी की मांग करते हुए सिंगापुर में आपराधिक शिकायत दर्ज कराई है। श्रीलंका में लिट्टे के विरुद्ध दशकों तक चले गृहयुद्ध में राजपक्षे की भूमिका को लेकर उन्हें गिरफ्तार करने की मांग की गई है।
आर्थिक संकट से जूझ रहे श्रीलंका को छोड़ने के बाद राजपक्षे फिलहाल सिंगापुर में हैं। उन्हें सिंहली बौद्ध बहुसंख्यक जनता युद्ध का नायक मानती है लेकिन लिबरेशन टाइगर्स ऑफ तमिल ईलम (लिट्टे) और उसके प्रमुख प्रभाकरन के खात्मे में राजपक्षे की भूमिका को लेकर कुछ लोग उन्हें मानवाधिकार हनन का दोषी मानते हैं।
दक्षिण अफ्रीका के ‘इंटरनेशनल ट्रुथ एंड जस्टिस प्रोजेक्ट’ (आईटीजेपी) के वकीलों ने सिंगापुर के महान्यायवादी को एक आपराधिक शिकायत सौंपते हुए युद्ध अपराध के लिए 73 वर्षीय राजपक्षे को गिरफ्तार करने की मांग की है।