भारत बायोटेक द्वारा बनाई गई कोवैक्सीन अब विवादों में आ गई है। ब्राजील ने भारत बायोटेक के साथ कोवैक्सीन के लिए किए गए समझौते को सस्पेंड करने का फैसला लिया है। राष्ट्रपति जेयर बोलसोनारो पर लगे अनियमितता के आरोपों के बाद ब्राजील में इस डील को लेकर काफी विवाद पैदा हो गया, जिसके कारण लगभग 32.4 करोड़ डॉलर की वैक्सीन का कॉन्ट्रैक्ट सस्पेंड कर दिया गया है। इस बात की जानकारी मंगलवार को स्वास्थ्य मंत्री मार्सेलो किरोगा ने दी है।
समाचार एजेंसी रॉयटर्स के अनुसार विह्सलब्लोअर्स ने राष्ट्रपति पर सार्वजनिक रूप से अनियमितता का आरोप लगाया था। इसके बाद कोवैक्सीन के दो करोड़ डोज का हुआ यह समझौता बोलसोनारो के लिए सिरदर्द बन गया। एजेंसी ने स्वास्थ्य मंत्रालय के एक अधिकारी के हवाले से कहा कि उन्होंने राष्ट्रपति को अपनी चिंताओं के बारे में सचेत कर दिया है।
ब्राजील के स्वास्थ्य मंत्री मार्सेलो किरोगा ने एक संवाददाता सम्मेलन में कहा कि उनकी टीम निलंबन के दौरान लगे आरोपों की जांच करेगी। मंत्रालय ने एक बयान में कहा कि सीजीयू के प्रारंभिक विश्लेषण के अनुसार, अनुबंध में कोई अनियमितता नहीं है, लेकिन अनुपालन के लिए स्वास्थ्य मंत्रालय ने अनुबंध को निलंबित करने का फैसला किया है।
ब्राजील में बढ़े दामो, जल्दी चर्चा और नियामकों की तरफ से अटकी हुई मंजूरियों का हवाला देते हुए इस डील की जांच शुरू कर दी गई है। सरकार द्वारा महामारी से निपटने के तरीके की जांच करने वाला एक सीनेट पैनल भी इसकी जांच कर रहा है।
उस पैनल के प्रमुख विपक्षी सीनेटरों में से एक ने सोमवार को सुप्रीम कोर्ट में बोल्सोनारो के खिलाफ औपचारिक आपराधिक शिकायत दर्ज की। सीनेटर रैंडोल्फ़ रोड्रिग्स ने कहा कि वह चाहते हैं कि अदालत "गंभीर आरोपों" की जांच करे और यह पता लगाए कि बोलसोनारो ने स्वास्थ्य मंत्रालय में एक विशाल भ्रष्टाचार योजना के अस्तित्व के बारे में अधिसूचित होने के बाद कोई कार्रवाई क्यों नहीं की।