पीएनबी घोटाले के आरोपी नीरव मोदी (48) की जमानत याचिका लंदन की वेस्टमिंस्टर कोर्ट ने खारिज कर दी है। मामले पर अगली सुनवाई 26 अप्रैल को होगी। नीरव मोदी को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए अदालत के सामने पेश किया जाएगा। उसे शुक्रवार को फिर से लंदन की वेस्टमिंस्टर मजिस्ट्रेट कोर्ट में पेश किया गया। कोर्ट में उसकी जमानत याचिका पर सुनवाई के दौरान भारत की ओर से नीरव के खिलाफ और सबूत पेश किए गए। भारत का प्रतिनिधित्व कर रहे टोबी कैडमैन ने कहा, नीरव ने एक गवाह को फोन करके जान से मारने की धमकी दी।
कैडमैन ने कोर्ट में बताया, नीरव भारतीय एजेंसियों के साथ सहयोग नहीं कर रहा है। खतरा यह है कि वह बाहर भाग सकता है। सबूतों को नष्ट करने और गवाहों को प्रभावित करने का भी खतरा है। नीरव 9 दिन से पुलिस हिरासत में है। 19 मार्च को उसकी गिरफ्तारी हुई थी।
नीरव ने कभी छिपने की कोशिश नहीं की- वकील
सुनवाई के दौरान नीरव मोदी के वकील क्लेयर मोंटगोमरी ने कहा- नीरव मोदी जनवरी 2018 से ब्रिटेन में है। उसे अगस्त से पता है कि उसे प्रत्यर्पित किया जाने वाला है। उसके पास कोई सुरक्षित पनाहगाह नहीं है। वह खुलेआम ब्रिटेन में रह रहा है और उसने छुपने की कोई कोशिश नहीं की।
सुनवाई से पहले टोबी कैडमैन (भारत का प्रतिनिधित्व कर रहे) ने कहा, वेस्टमिंस्टर मजिस्ट्रेट कोर्ट से अगर नीरव मोदी को जमानत मिल जाती है, हम इसके खिलाफ हाईकोर्ट में अपील करेंगे। हम उसे हिरासत में रखने के लिए सब कुछ करेंगे।
सीबीआई-ईडी की टीमें लंदन में
नीरव के केस की सुनवाई के लिए सीबीआई और प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) की टीम लंदन गई है। सीबीआई-ईडी की टीम में दोनों जांच एजेंसियों के जॉइंट डायरेक्टर स्तर के अधिकारी हैं। भारत नीरव के प्रत्यर्पण की कोशिश में जुटा है।
सीबीआई-ईडी की टीम अपने साथ नीरव, उसकी पत्नी एमी, मेहुल चौकसी और अन्य के खिलाफ दायर चार्जशीट्स की कॉपी भी ले गई है। ईडी के अधिकारी नीरव और उसकी कंपनियों की 147 करोड़ रुपए की संपत्तियों से जुड़े दस्तावेज भी ले गए हैं। एजेंसी ने 26 फरवरी को यह संपत्ति अटैच की थी।
भारतीय एजेंसियों की टीम नीरव से जुड़े दस्तावेजों को लंदन की जांच एजेंसियों को मुहैया करवाएगी। ताकि नीरव की जमानत अर्जी पर सुनवाई के दौरान उसके खिलाफ मजबूती से पक्ष रखा जा सके।
14 महीने बाद पकड़ा गया नीरव
पिछले साल जनवरी में पीएनबी घोटाले का खुलासा हुआ था। इससे पहले ही नीरव विदेश भाग गया था। 9 मार्च को उसका एक वीडियो सामने आया था। द टेलीग्राफ की रिपोर्ट में बताया गया कि नीरव लंदन में रहकर हीरे का बिजनेस कर रहा है। उसके बाद लंदन की वेस्टमिंस्टर अदालत ने नीरव के खिलाफ गिरफ्तारी वारंट जारी किया था। भारत की अपील पर 19 मार्च को उसे गिरफ्तार कर लिया गया।