भारत के एंटी-सैटेलाइट परीक्षण पर पड़ोसी देशों पाकिस्तान और चीन की प्रतिक्रिया सामने आई है। पाकिस्तान ने जहां इसकी आलोचना की है वहीं चीन ने इसे लेकर सधी हुई प्रतिक्रिया दी है। पाकिस्तान ने कहा कि भारत का यह कदम अंतरिक्ष के मिलिटराइजेशन के खिलाफ था। पाकिस्तान विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता मोहम्मद फैसल ने कहा कि अंतरिक्ष मानव की साझी विरासत है और हर देश की जिम्मेदारी है कि वह ऐसा कोई काम करने से बचे, जिससे इसका मिलिटराइजेशन हो। पाकिस्तान ने ये भी कहा कि अंतरराष्ट्रीय समुदाय की जिम्मेदारी है कि ऐसे परीक्षण को देखे।
चीन ने जताई शांति की उम्मीद
वहीं, चीन ने भारत के उपग्रह रोधी मिसाइल परीक्षण पर को सतर्कतापूर्वक प्रतिक्रिया जताते हुए उम्मीद जताई कि सभी देश बाहरी अंतरिक्ष में शांति बनाये रखेंगे। चीन के विदेश मंत्रालय ने भारत द्वारा उपग्रह रोधी मिसाइल के सफल परीक्षण को लेकर कहा, ''हमने खबरें देखी हैं और उम्मीद करते हैं कि प्रत्येक देश बाहरी अंतरिक्ष में शांति बनाए रखेंगे।" चीन ने ऐसा एक परीक्षण जनवरी 2007 में किया था जब उसके उपग्रह रोधी मिसाइल ने एक निष्क्रिय मौसम उपग्रह को नष्ट कर दिया था।
ऐसा करने वाला चौथा देश बना भारत
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने बुधवार को घोषणा की कि भारत ने अंतरिक्ष में एंटी सैटेलाइट मिसाइल से एक लाइव सैटेलाइट को मार गिराते हुए भारत ऐसी क्षमता हासिल करने वाला दुनिया का चौथा देश बन गया। इससे पहले अमेरिका, रूस और चीन के पास यह क्षमता थी।
पीएम मोदी ने कहा कि हमने जो नई क्षमता हासिल की है, यह किसी के विरूद्ध नहीं था। उपग्रह 300 किमी की ऊंचाई पर एक पूर्व निर्धारित लक्ष्य था। मोदी ने कहा कि मिशन शक्ति का उद्देश्य भारत की समग्र सुरक्षा को मजबूती प्रदान करना था और इस मिशन का नेतृत्व डीआरडीओ ने किया। विदेश मंत्रालय ने दिल्ली में जारी एक बयान में कहा कि भारत का बाहरी अंतरिक्ष में हथियारों की किसी होड़ में शामिल होने का कोई इरादा नहीं है।