विकिलीक्स के संस्थापक जूलियन असांजे को गुरुवार को ब्रिटेन में गिरफ्तार कर लिया गया। ऑस्ट्रेलिया के जूलियन असांजे बीते 7 सालों से असांजे ने इक्वाडोर के दूतावास में शरण ले रखी थी। एक यौन उत्पीड़न के केस में स्वीडन में प्रत्यर्पित किए जाने से बचने के लिए असांजे ने दूतावास को अपना ठिकाना बना रखा था। लंदन की मेट्रोपॉलिटन पुलिस ने कहा कि फिलहाल असांजे को हिरासत में लिया गया है और उन्हें वेस्टमिन्सटर मजिस्ट्रेट कोर्ट के समक्ष पेश किया जाएगा। पहली बार असांजे तब चर्चा में आए थे, जब उन्होंने 2010 में बड़ी संख्या में अमेरिकी गोपनीय दस्तावेजों को सार्वजनिक किया था। आइए, जानते हैं जूलियन असांजे के बारे में-
असांजे का जन्म ऑस्ट्रेलिया के टाउनविले में 3 जुलाई, 1971 को हुआ था। अपने बचपन और युवावस्था में उन्होंने कुल मिलाकर 37 स्कूल अटेंड किए। 1990 के दौरान वह एक कंप्यूटर प्रोग्रामर और सॉफ्टवेयर डिवेलपर बन गए। इसके अलावा हैकिंग में भी वह माहिर थे। उन्होंने यूनिवर्सिटी ऑफ मेलबर्न से फिजिक्स और मैथ्स में डिग्री हासिल की।
2006 में विकिलीक्स की शुरुआत
2006 में असांजे ने wikileaks.org की शुरुआत की ताकि बिना ट्रेस हुए वह इंटरनेट पर एक मुखबिर के तौर पर संवेदनशील दस्तावेज पोस्ट कर सकें। 2010 में विकिलीक्स ने बड़ी संख्या में सेना से जुड़े अमेरिकी गोपनीय दस्तावेजों को पब्लिश किया। इसके अलावा असांजे ने अफगानिस्तान और इराक युद्ध से जुड़े दस्तावेजों को भी सार्वजनिक कर दिया। इसके बाद अमेरिका में असांजे को बहिष्कृत कर दिया गया।
2010 में लगा यौन उत्पीड़न का आरोप
2010 में स्वीडन की दो महिलाओं ने असांजे पर रेप और यौन शोषण के आरोप लगाए और उनके खिलाफ स्वीडन ने अरेस्ट वारंट जारी कर दिया। असांजे ने इन आरोपों को सिरे से खारिज कर दिया। 2012 में ब्रिटेन द्वारा स्वीडन को प्रत्यपर्ति किए जाने से बचने के लिए, उन्होंने इक्वाडोर के दूतावास से शरण की गुहार लगाई और तब से लंदन में शरणार्थी के तौर पर रह रहे थे।
2016 में भी किया था खुलासा
2016 में विकिलीक्स ने डेमोक्रेट हिलरी क्लिंटन की टीम द्वारा अमेरिकी चुनाव अभियान में भेजे गए 20,000 हैक किए ईमेल सार्वजनिक कर दिए। हालांकि, स्वीडन ने 2017 में उनके खिलाफ रेप से जुड़े अपराध को हटा लिया था। इसके बाद असांजे ने इक्वाडोर की नागरिकता ले ली।
2018 में उनके वकील ने दूतावास में उनके रहने की परिस्थितियों को 'अमानवीय' बताया। 2019 में इक्वाडोर के राष्ट्रपति लेनिन मोरेनो ने कहा कि असांजे ने अपने शरणस्थल के नियमों का उल्लंघन किया है। अब ब्रिटेन की पुलिस ने उन्हें गिरफ्तार कर लिया है और उनकी शरण के खत्म होने का हवाला दिया है।