आउटलुक ब्यूरो
हेग में स्थित इंटरनेशनल कोर्ट ऑफ जस्टिस में परमाणु निरस्त्रीकरण के केस पर भारत ने अपने तर्क दिए। हेग में रिपब्लिक ऑफ द मार्शल आइलैंड ने दुनिया के नौ परमाणु शक्ति संपन्न नौ देशों के खिलाफ केस कर रखा है। इसी की सुनवाई के दौरान भारत ने अपना पक्ष रखा और इस द्वीप ने अपना।
मार्शल आइलैंड के पूर्व विदेश मंत्री टॉनी दी ब्रुम का कहना है कि न्यूक्लियर नॉन प्रोलिफिरेशन ट्रीट्री और अंतर्राष्ट्रीय प्रावधान के बावजूद तमाम देश परमाणु शक्ति का विस्तार किए जा रहे हैं। दरअसल, प्रशांत महासागर में स्थित द्वीप देशों में से एक देश मार्शल आइलैंड्स का इस्तेमाल अमेरिका ने अपने परमाणु बमों के परीक्षण के लिए लंबे समय तक अड्डा रहा था। इसकी वजह से वहां की राजनीति में परमाणु विरोध बहुत तगड़ा बैठा हुआ है। यही वजह है कि उसने विश्व की अंतर्राष्ट्रीय न्यायिक पंचाट में इसके खिलाफ मामला डाल रखा है।