सऊदी अरब ने कहा कि इस साल हज को रद्द नहीं किया जाएगा लेकिन कोरोना वायरस को देखते हुए सीमित संख्या में ही लोगों को इसमें शामिल होने की अनुमति दी जाएगी। सऊदी अरब सल्तनत ने मंगलवार को कहा कि वह विभिन्न देशों के केवल उन्हीं लोगों को हज में शामिल होने की अनुमति देगा जो पहले से ही मुल्क में रह रहे हैं। हालांकि सरकार ने यह नहीं बताया है कि कितने लोगों को शामिल होने दिया जाएगा। वार्षिक हज यात्रा इस साल जुलाई के अंत में शुरू होगी।
आधिकारिक बयान में कहा गया है कि लोगों में कोरोना संक्रमण को रोकने के लिए तमाम सुरक्षात्मक उपाय भी अपनाए जाएंगे। हज के लिए सऊदी अरब के मक्का में आमतौर पर दुनियाभर से 20 लाख के करीब मुस्लिम जुटते हैं लेकिन कोरोना महामारी के चलते इस बार श्रद्धालुओं की संख्या बहुत कम रहेगी।
बता दें कि सऊदी अरब ने अपनी स्थापना के बाद से लगभग 90 वर्षों में कभी भी हज को रद्द नहीं किया है। इस्लाम धर्म के पांच बुनियादी स्तंभ हैं जिसमें हज भी शामिल है। हर मुस्लिम अपने जीवन में कम से एक बार अवश्य हज करने की इच्छा रखता है।
इस बार सऊदी अरब के फैसले से स्पष्ट है कि दूसरे देशों से मुसलमान हज करने के लिए सऊदी अरब नहीं जा पाएंगे। वैसे भी कोरोना संकट के चलते इस साल हज यात्रा के स्थगित होने के कयास लगाए जा रहे थे लेकिन अब यह सीमित संख्या में होगी। दुनिया भर में बढ़ते कोरोना संक्रमण को देखते हुए सऊदी अरब ने फरवरी महीने में मक्का में आने वाले ‘उमरा’ यात्रा पर रोक लगा दी थी। यह फैसला पवित्र शहर मक्का और मदीना में कोरोना वायरस के प्रसार को रोकने के लिए उठाया गया था। हालांकि यह यात्रा पूरे साल की जा सकती है।
 
                                                 
                             
                                                 
                                                 
                                                 
			 
                     
                    