म्यांमार स्टेट काउंसलर आंग सान सू की समेत राष्ट्रपति विन मिंट और सत्तारूढ़ पार्टी के अन्य सदस्यों को सोमवार को हिरासत में लिये जाने के बाद सेना ने देश में आपातकाल की स्थिति की घोषणा कर दी।
इससे पहले मीडिया रिपोर्ट में बताया गया कि सुश्री आंग सान सु की और श्री विन मिंट के साथ-साथ नेशनल लीग फ़ॉर डेमोक्रेसी पार्टी के अन्य सदस्यों को आज सुबह सेना ने तख्ता पलट कर हिरासत में लिया गया।
इस बीच अमेरिका के राष्ट्रपति जो बिडेन के राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार जेक सुलिवन ने उन्हें म्यांमार की स्थिति पर जानकारी दी। अमेरिका ने सुश्री आग सान की और राष्ट्रपति को सैन्य हिरासत से मुक्त करने को कहा है और जिम्मेदार लोगों के खिलाफ कार्रवाई करने की धमकी दी।
गत माह जनवरी में म्यांमार के सेना ने आठ नवंबर के चुनाव के दौरान में मतदान में व्यापक रूप से धांधली होने पर तख्तापलट की आशंका जताई थी, यह चुनाव देश में वर्ष 2011 में सैन्य शासन के अंत के बाद दूसरा आम चुनाव हुआ था।
गौरतलब है कि एक दशक पहले तक म्यांमार में सैनिक शासन था और ये सैनिक शासन करीब पचास साल तक जारी रहा इसलिए म्यांमार का लोकतंत्र अभी जड़ें नहीं जमा सका है। पिछले नवंबर में हुए संसदीय चुनाव में सत्ताधारी एनएलडी पर चुनावी धांधली के आरोप लगे थे। इन चुनावों में एनएलडी की बड़ी जीत हुई थी, मगर उसकी जीत को तब से संदेह की निगाह से देखा जाता रहा है। म्यांमार की नवनिर्वाचित संसद की पहली बैठक आज प्रस्तावित थी। इससे पहले सेना ने बड़े नेताओं को हिरासत में ले लिया