पाकिस्तान का कहना था कि चूंकि वह जम्मू-कश्मीर की विधानसभा को मान्यता नहीं देता इसलिए वहां के अध्यक्ष को उसने न्यौता नहीं दिया। पाकिस्तान के इस रवैये के बाद भारत की अन्य विधानसभाओं के अध्यक्षों ने चेतावनी दी थी कि वे भी इस न्यौते को नहीं कबूल करेंगे। अब खबरें आ रही हैं कि पाकिस्तान ने इस सम्मेलन को ही रद्द कर दिया है। दरअसल राष्ट्रमंडल देशों की संसदीय संस्थाओं के प्रमुखों की बैठक समय-समय पर अलग-अलग देशों में आयोजित की जाती है। इस बार इस आयोजन की जिम्मेदारी पाकिस्तान की थी मगर उसने इसमें भी अपनी ओछी राजनीति नहीं छोड़ी जिसके कारण यह आयोजन ही विवादों में आ गया। यह सम्मेलन 30 सितंबर से आयोजित किया जाना था मगर भारत के बहिष्कार की धमकी के बाद इसकी सफलता संदिग्ध हो गई थी। गौरतलब है कि भारत और पाकिस्तान के राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकारों की बैठक दो दिन बाद ही दिल्ली में होनी है। इसे लेकर दिल्ली से जम्मू-कश्मीर तक गुरुवार को दिनभर हंगामा होता रहा है। यह वार्ता क्या रुख लेगी यह अबतक तय नहीं है।