तोमर ने कहा कि अब भारत अगले दस साल में 30 करोड़ टन का उत्पादन हासिल करने के लिए काम कर रहा है। तोमर ने कहा, अभी तक भारत इस्पात उत्पादन में चीन, जापान और अमेरिका के बाद चौथे स्थान पर था। चालू कैलेंडर साल के पहले पांच माह में वैश्विक इस्पात उत्पादन में भारत तीसरे स्थान पर पहुंच गया है। इसे साथ ही पहली बार दुनिया के इस्पात उत्पादक देशों में शीर्ष तीन जगहों पर एशिया के देश काबिज हो गए हैं।
अपने मंत्रालय से संबद्ध संसदीय सलाहकार समिति को कर्नाटक के बेंगलुर में संबोधित करते हुए मंत्री ने कहा कि देश का इस्पात उद्योग अच्छी रफ्तार से आगे बढ़ रहा है। पिछले साल देश का कच्चे इस्पात का उत्पादन आठ प्रतिशत से अधिक बढ़ा था। उन्होंने बताया कि अभी देश में प्रति व्यक्ति इस्पात की खपत काफी कम है। यह 60 किलोग्राम प्रति व्यक्ति है, जबकि इसका वैश्विक औसत 216 किलोग्राम है। कम खपत इस बात का संकेत है कि देश के इस्पात उद्योग में वृद्धि की काफी संभावना है। तोमर ने कहा कि देश ने 2025 तक 30 करोड़ टन सालाना इस्पात उत्पादन का लक्ष्य रखा है। इस्पात मंत्रालय इस लक्ष्य को हासिल करने के लिए कार्रवाई योजना व रणनीति पर काम कर रहा है।