लोकसभा से निलंबित होने के बाद अधीर रंजन चौधरी ने शनिवार को प्रेस वार्ता की और कहा कि अगर जरूरत पड़ी तो वह सुप्रीम कोर्ट जा सकते हैं। बता दें कि लोकसभा से निलंबन पर कांग्रेस नेता अधीर रंजन चौधरी के समर्थन में कांग्रेस और INDIA गुट के नेताओं ने विगत दिन संसद परिसर में प्रदर्शन किया था।
शनिवार को अपने निलंबन पर चर्चा करते हुए अधीर रंजन चौधरी ने प्रेस वार्ता में सुप्रीम कोर्ट जाने की बात कही। उन्होंने सुप्रीम कोर्ट जाने की संभावनाओं के बारे में पूछे गए सवाल पर जवाब देते हुए कहा, "अगर ज़रूरत लगी तो मैं सुप्रीम कोर्ट भी जा सकता हूं।"
#WATCH | If needed, I can approach Supreme Court, says Congress leader Adhir Ranjan Chowdhury on his suspension from Lok Sabha. pic.twitter.com/pk8TWhQV7n
— ANI (@ANI) August 12, 2023
अधीर रंजन चौधरी ने आगे कहा, "यह एक नई घटना है जिसे हमने संसद में अपने करियर में पहले कभी अनुभव नहीं किया है। यह विपक्ष की आवाज को दबाने के लिए सत्ता पक्ष द्वारा एक जानबूझकर की गई साजिश है। इससे संसदीय लोकतंत्र की भावना कमजोर होगी।"
#WATCH | Congress leader Adhir Ranjan Chowdhury on his suspension from Lok Sabha
"This is a new phenomenon we have never before experienced in our career in Parliament...This is a deliberate design by the ruling party to throttle the voice of the opposition...This will undermine… pic.twitter.com/Um5kvbHH7p
— ANI (@ANI) August 12, 2023
उन्होंने कहा, "हमने संसद में मणिपुर पर प्रधानमंत्री के बयान की मांग की थी। हम चाहते थे कि संसद चले। जब हमारी बात नहीं सुनी गई तब हमें यह सुनिश्चित करने के लिए अविश्वास प्रस्ताव लाने का अंतिम उपाय करना पड़ा कि प्रधानमंत्री संसद में बोलें।"
विपक्ष द्वारा लाए गए अविश्वास प्रस्ताव पर बात करते हुए चौधरी ने कहा, "जब अविश्वास पर बहस लंबित थी तब वे (भाजपा) संसद में विधेयक पारित कर रहे थे। विपक्ष को कई विधेयकों पर अपनी राय रखने का मौका नहीं मिला।"
हमने संसद में मणिपुर पर प्रधानमंत्री के बयान की मांग की थी। हम चाहते थे कि संसद चले। जब हमारी बात नहीं सुनी गई तब हमें यह सुनिश्चित करने के लिए अविश्वास प्रस्ताव लाने का अंतिम उपाय करना पड़ा कि प्रधानमंत्री संसद में बोलें... जब अविश्वास पर बहस लंबित थी तब वे(भाजपा) संसद में… pic.twitter.com/eGVzfFewwP
— ANI_HindiNews (@AHindinews) August 12, 2023
विदित हो कि गुरुवार को संसदीय कार्य मंत्री प्रल्हाद जोशी ने विघटनकारी व्यवहार का हवाला देते हुए चौधरी के निलंबन के लिए एक प्रस्ताव रखा, जिससे लगातार कार्यवाही बाधित होती थी, खासकर जब प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी और मंत्रियों ने सदन को संबोधित किया या बहस चल रही थी।
ध्वनि मत से पारित प्रस्ताव ने अधीर रंजन चौधरी को सदन से निलंबित कर दिया। विशेषाधिकार समिति द्वारा व्यापक जांच लंबित रहने तक कांग्रेस नेता अधीर रंजन चौधरी के निलंबन के मामला पर काफी बहसबाजी हुई। निलंबन पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए, कांग्रेस ने आश्चर्य व्यक्त किया था और कार्रवाई को "अविश्वसनीय" और "अलोकतांत्रिक" बताया था।