गौरतलब है कि अमित शाह तीन दिन के मुंबई दौरे पर हैं और राष्ट्रपति चुनावों के लिए सहयोगी दलों से मुलाकात कर रहें है। दरअसल अमित शाह ने एक दिन पहले कहा था कि उनकी पार्टी राष्ट्रपति पद का उम्मीदवार तय करने से पहले अपने सहयोगियों के साथ विचार-विमर्श करेगी। शिवसेना ने हाल ही में राष्ट्रपति पद के लिए हरित क्रांति के जनक एम.एस. स्वामीनाथन का नाम सुझाया था। कुछ दिनों से शिवसेना के तेवर बीजेपी को लेकर तल्ख बने हुए है और पार्टी ने पहले कहा था कि वो राष्ट्रपति चुनाव में स्वतंत्र रास्ता चुन सकती है। इससे पहले के दो चुनावों में भी उसने विपक्षी दलों के उम्मीदवार प्रतिभा पाटिल और प्रणव मुखर्जी का समर्थन किया था।
फडणवीस के बयान पर शाह की सफाई
शिवसेना के रुख में नरमी लाने के लिए एक दिन पहले ही अमित शाह ने फडणवीस के मध्यावधि चुनाव के लिए तैयार रहने वाले बयान पर सफाई दी थी। उन्होंने कहा था कि सीएम का मतलब यह था कि अगर मध्यावधि चुनाव थोपा जाता है तो हम चुनाव लड़ने के लिए तैयार हैं। महाराष्ट्र सरकार की कर्ज माफी घोषणा पर शाह ने कहा था कि यह मुद्दा हमारे चुनावी घोषणापत्र में था और इसके जरिए सरकार किसानों को राहत प्रदान कर रही है।