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दिल्ली में नए डीजल वाहनों के रजिस्‍ट्रेशन पर एनजीटी की रोक

खतरनाक हद तक बढ़ चुके प्रदूषण में कमी लाने की दिशा में एक अंतरिम उपाय करते हुए राष्‍ट्रीय हरित अधिकरण (एनजीटी) ने आदेश दिया कि दिल्ली में डीजल से चलने वाले वाहनों का पंजीकरण नहीं किया जाएगा और डीजल से चलने वाले 10 साल से ज्यादा पुराने वाहनों के पंजीकरण का नवीनीकरण नहीं किया जाएगा।
दिल्ली में नए डीजल वाहनों के रजिस्‍ट्रेशन पर एनजीटी की रोक

एनजीटी ने राष्‍ट्रीय राजधानी में प्रदूषण पर लगाम लगाने के लिए दिल्ली सरकार की ओर से वाहनों के लिए शुरू की जाने वाली सम-विषम योजना पर सवाल उठाते हुए कहा कि इससे मकसद हल नहीं होगा। एनजीटी प्रमुख न्यायमूर्ति स्वतंत्र कुमार की अध्यक्षता वाली एक पीठ ने कहा, एनसीटी दिल्ली में हवा की गुणवत्ता में वाहन से होने वाले प्रदूषण का गंभीर योगदान देखते हुए यह अहम है कि सरकार को एक गंभीर नजरिया अपनाना और फैसला लेना चाहिए कि क्या दिल्ली में किसी डीजल वाहन, नए या पुराने, का पंजीकरण होना चाहिए।

पीठ ने कहा, एक अंतरिम उपाय के तौर पर और मामले में सभी पक्षों की सुनवाई होने तक हम निर्देश देते हैं कि 10 साल से ज्यादा पुराने हो चुके और नए डीजल वाहनों का पंजीकरण दिल्ली में नहीं किया जाएगा। अधिकरण ने केंद्र एवं राज्य सरकारों को निर्देश दिया कि वे अपने विभागों के लिए भी कोई डीजल वाहन न खरीदें। इससे पहले, पिछले साल नवंबर में पीठ ने 15 साल से ज्यादा पुराने सभी वाहनों पर पाबंदी लगा दी थी और कहा था कि उन्हें दिल्ली की सड़कों पर नहीं चलने दिया जाएगा।

सम-विषम योजना पर उठाए सवाल

दिल्ली सरकार की नंबर के हिसाब से एक दिन छोड़कर गाड़‍ियां चलाने की योजना पर सवाल उठाते हुए एनजीटी ने कहा कि वाहनों के लिए सम-विषम योजना लोगों को दो कारें खरीदने के लिए प्रोत्साहित कर सकती हैं। दिल्ली में वायु प्रदूषण का प्रमुख स्रोत डीजल को बताते हुए एनजीटी ने कहा था कि हालात इतने खतरनाक हैं कि लोगों के स्वास्थ्य पर पड़ रहे प्रतिकूल प्रभाव के कारण उन्हें दिल्ली छोड़कर चले जाने तक की सलाह दी गई है।

 

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