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नक्सलवाद का निपटारा! प्रभावित जिलों की संख्या हुई आधी

केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने मंगलवार को कहा कि नक्सलवाद से सर्वाधिक प्रभावित जिलों की संख्या 12 से...
नक्सलवाद का निपटारा! प्रभावित जिलों की संख्या हुई आधी

केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने मंगलवार को कहा कि नक्सलवाद से सर्वाधिक प्रभावित जिलों की संख्या 12 से घटकर छह रह गई है। शाह ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व वाली सरकार नक्सलवाद के प्रति निर्मम दृष्टिकोण अपनाकर और सर्वांगीण विकास के लिए अथक प्रयास करके ‘‘सशक्त, सुरक्षित और समृद्ध भारत’’ का निर्माण कर रही है।

उन्होंने कहा कि भारत नक्सलवाद को 31 मार्च 2026 तक पूरी तरह से जड़ से उखाड़ फेंकने के लिए प्रतिबद्ध है।

शाह ने सोशल मीडिया मंच ‘एक्स’ पर लिखा, ‘‘नक्सल मुक्त भारत के निर्माण की दिशा में एक बड़ा कदम उठाते हुए आज हमारे देश ने वामपंथी उग्रवाद से सर्वाधिक प्रभावित जिलों की संख्या को 12 से घटाकर मात्र छह करके एक नयी उपलब्धि हासिल की है।’’

केंद्रीय गृह मंत्रालय के आंकड़ों के अनुसार, वामपंथी उग्रवाद (एलडब्ल्यूई) प्रभावित जिले वे हैं जहां नक्सली गतिविधियां एवं हिंसा अब भी जारी है।

एलडब्ल्यूई प्रभावित जिलों को ‘सबसे अधिक प्रभावित जिले’ के रूप में उप-वर्गीकृत किया गया है। यह 2015 में लायी गई शब्दावली है। इसके अलावा एक उप वर्ग ‘‘ऐसे जिले हैं जहां चिंता है’’। यह उप श्रेणी 2021 में बनायी गई थी।

पिछली समीक्षा के अनुसार ‘सर्वाधिक प्रभावित जिले’ 12 थे।

आधिकारिक रिकॉर्ड के अनुसार, 2015 में ऐसे 35 जिले, 2018 में 30 जिले और 2021 में 25 जिले थे।

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