प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने लोकसभा में ऑपरेशन सिंदूर को लेकर अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प के दावों का खंडन करते हुए कहा कि किसी भी विश्व नेता ने भारत से पाकिस्तान के खिलाफ सैन्य कार्रवाई रोकने के लिए नहीं कहा। उन्होंने स्पष्ट किया कि भारत ने अपनी संप्रभुता और सुरक्षा के लिए स्वतंत्र रूप से कार्रवाई की। यह बयान 29 जुलाई 2025 को लोकसभा में ऑपरेशन सिंदूर पर विशेष चर्चा के दौरान आया, जो अप्रैल 2025 में जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले के जवाब में शुरू किया गया था।
22 अप्रैल को पहलगाम में हुए आतंकी हमले में 26 नागरिक मारे गए थे। इसके जवाब में भारत ने 7 मई को ऑपरेशन सिंदूर शुरू किया, जिसमें पाकिस्तान और पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर (पीओके) में आतंकी ठिकानों पर सटीक हमले किए गए। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने बताया कि यह ऑपरेशन 22 मिनट में पूरा हुआ, जिसमें नौ आतंकी ठिकानों को नष्ट किया गया और 100 से अधिक आतंकवादी मारे गए। उन्होंने जोर देकर कहा कि ऑपरेशन को किसी बाहरी दबाव में नहीं रोका गया, बल्कि भारत के राजनीतिक और सैन्य उद्देश्यों की पूर्ति के बाद इसे रोका गया।
मोदी ने कहा, "पाकिस्तान अब जानता है कि भारत का जवाब पहले से कहीं अधिक कड़ा है।" उन्होंने विपक्ष पर निशाना साधते हुए कहा कि कुछ नेता राष्ट्रीय गौरव के क्षणों को मजाक में बदलने की कोशिश कर रहे हैं। विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने भी ट्रम्प के दावों का खंडन किया, जिसमें उन्होंने कहा था कि उन्होंने भारत-पाकिस्तान के बीच युद्धविराम कराया। जयशंकर ने स्पष्ट किया कि 22 अप्रैल से 17 जून तक पीएम मोदी और ट्रम्प के बीच कोई बातचीत नहीं हुई, और युद्धविराम दोनों देशों के सैन्य निदेशकों (डीजीएमओ) के बीच सीधे संपर्क से हुआ, जिसकी पहल पाकिस्तान ने की।
विपक्ष ने सरकार से पहलगाम हमले में सुरक्षा चूक और ऑपरेशन के दौरान कथित विमान हानि पर सवाल उठाए। राहुल गांधी ने पीएम से ट्रम्प को "झूठा" कहने की चुनौती दी, जबकि कांग्रेस ने ऑपरेशन की रणनीति और समय पर सवाल उठाए। सरकार ने इन दावों को खारिज करते हुए कहा कि ऑपरेशन सिंदूर ने भारत की आतंकवाद के प्रति जीरो टॉलरेंस नीति को मजबूत किया।