उत्तर प्रदेश विधानसभा में मिले संदिग्ध पाउडर को विस्फोटक पीईटीएन बताने के आरोप में लखनऊ में फॉरेंसिक साइंस लैबोरेट्री के निदेशक श्याम बिहारी उपाध्याय को निलंबित कर दिया गया है।
समाचार एजेंसी पीटीआई के मुताबिक, यूपी विधानसभा में मिला संदिग्ध पाउडर पीईटीएन विस्फोटक पदार्थ नहीं था। सेंट्रल फॉरेंसिक साइंस लैब, हैदराबाद में कराई गई जांच में इसे सिलीकॉन ऑक्साइड बताया गया। सरकार की ओर से इसकी पुष्टि की गई। जिसके बाद फॉरेंसिक साइंस लैबोरेट्री के निदेशक डॉ श्याम बिहारी उपाध्याय को भ्रामक और अप्रमाणिक रिपोर्ट देने के आरोप में उनके पद से निलंबित कर दिया गया साथ ही जांच के आदेश दिए गए हैं।
एक्सपायरी किट से हुई थी जांच
संदिग्ध पदार्थ की जिस एक्सप्लोसिव डिटेक्शन किट से जांच की वह मार्च 2016 में ही एक्सपायर हो चुकी थी। साथ ही यह आरोप भी है कि जांच उन्होंने गैर विशेषज्ञ और विस्फोटक अनुभाग की बजाय दूसरे अनुभाग से कराई।
क्या था मामला?
12 जुलाई को उत्तरप्रदेश विधानसभा में 150 ग्राम संदिग्ध पाउडर मिलने का खुलासा हुआ। जिसके बाद लखनऊ के फारेंसिक लैब ने फॉरेंसिक जांच मे विस्फोटक मिलने की पुष्टि की थी। यह समाजवादी पार्टी के विधायक की सीट के नीचे मिला था। संदिग्ध पाउडर मिलने के बाद सीएम योगी आदित्यनाथ ने सुरक्षा का समीक्षा किया था। इस दौरान सीसीटीवी से भी नहीं मिला कोई सुराग नहीं मिल पाया था।