महिला के परिवार वालों ने अस्पताल प्रशासन पर एंबुलेंस न देने का अरोप लगाया है। प्रसव पीड़ा के दौरान महिला की यहां जिला अस्पताल में मौत हो गई थी।
एक स्थानी न्यूज चैनल ने इस मामले का वीडियो भी दिखाया है। महिला के पति महेश चंद्र का कहना है कि एंबुलेंस के लिए उससे 800 रुपये की मांग की गई थी। जब वह पैसे नहीं दे पाया तो पत्नी का शव ले जाने के लिए उसे एंबुलेंस देने से मना कर दिया गया।
इस के बाद उसे मजबूरी में अस्पताल से स्ट्रेचर पर रखकर पत्नी का शव लेकर जाना पड़ा। उधर मुख्य चिकित्साधिकारी डॉ. दीपक सेठ इन आरोपों का खंडन कर रहे हैं। उनका कहना है कि शव ले जाने के लिए निशुल्क एंबुलेंस दी गई है। मीडिया में चल रही ऐसी खबरों को उन्होंने निराधार बताया। उन्होंने कहा कि वार्ड से पार्किंग तक ले जाने के लिए ही स्ट्रेचर का इस्तेमाल किया गया है।
गौरतलब है कि कुछ महीने पहले संवेदनहीनता का एक ऐसा ही मामला उड़ीसा में भी सामने आया था।