मध्य प्रदेश में भड़के किसान आंदोलन के दौरान फायरिंग के मुद्देे पर पुलिस के आला अधिकारी और राज्य के गृह मंत्री की ओर से विरोधाभासी बयान आए हैं। बुधवार शाम मीडिया से रूबरू होते हुए आईजी (लॉ एंड ऑर्डर) मकरंद देवसकर ने कहा, "जांच के दौरान यह साफ हुआ है कि वहां पुलिस ने फायरिंग की थी। लेकिन जिन हालात में फायरिंग की गई, उसे बता पाना मुश्किल है। अभी जांच पूरी नहीं हुई है, इसलिए मैं अभी यह बताने में असमर्थ हूं कि कितनी फोर्स का इस्तेमाल किया गया था।"
छह किसानों की मौत के बावजूद कल तक गृह मंत्री भूपेंद्र सिंह मंदसौर में पुलिस फायरिंग से इंकार कर रहेे थेे, जिसे लेकर उनकी खूब आलोचना हुई। प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार, पांच किसानों की मौत गोली लगने से हुई थी। वहां हालत पर काबू पाने के लिए सीआरपीएफ को भी तैनात किया गया था। तनावपूर्ण स्थिति को देखते हुए शहर में कर्फ्यू लगा दिया गया। इंटरनेट भी बंद है। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने घटना की न्यायिक जांच केे आदेश दिए हैं।
आंदोलन के सातवें दिन भी हिंसा
मंदसौर गोलीकांड के बाद किसान आंदोलन की आग दूसरे इलाकों तक भी फैल गई है। आक्रोशित किसानों ने आज गोलीबारी में मारे गए युवक अभिषेक का शव सड़क पर रखकर चक्का जाम किया। इस दौरान मौके पर पहुंचे मंंदसाैैैर कलेक्टर स्वतंत्र कुमार सिंंह सेे धक्कामुक्की की और उन्हें थप्पड़ मार दिया। उनके कपड़े भी फट गए। सोनकच्छ में आंदोलनकारियों ने एक चार्टर्ड बस में आग लगा दी। बस में मौजूदा यात्रियों ने किसी तरह भागकर जान बचाई।
भोपाल-इंदौर हाईवे पर कई वाहन फूंके
भोपाल-इंदौर हाईवे पर कई जगह आगजनी और पथराव की खबर है। हिंसक आंदाेेेलनकारियों ने दो दर्जन से ज्यादा वाहनों में आग लगा दी और कई जगह तोड़फाेड़ की। देवास के हाट पिपलिया में आंदोलनकारियों ने थाने के अंदर खड़ी गाड़ियों में आग लगा दी। पिपलिया मंडी में एक बैंक और एटीएम में भी आगजनी की गई। किसानों पर हुई फायरिंग के विरोध में बुधवार को कांग्रेस की ओर से बुलाए गए प्रदेश बंद का भी काफी असर रहा। कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी ने गुरुवार को मंदसौर पहुंचने का ऐलान किया है।