परिषद की दलील है कि जल्द ही निजी कंपनी पार्किंग चलाएगी। इसके लिए टेंडर जारी कर दिए गए हैं। यह अलग है कि एनडीएमसी के मल्टी लेवल पार्किंग के मामले में दावे बौने साबित हुए हैं।
पिछले दिनों एनडीएमसी की पार्किंग का ठेका डिक्वट्स कंपनी से वापस ले लिया गया था क्योंकि डिक्वट्स कंपनी परिषद को खासा चूना लगा रही थी और इस घपले की जांच भी सीबीआई को दे दी गई।
इसके बाद से एनडीएमसी अपनी सभी 94 पार्किंग स्वयं चला रही है। इन पार्किंग को परिषद का अप्रशिक्षित स्टाफ ही चला रहा है। हालांकि परिषद का दावा है कि इस स्टाफ से भी उसे ठीक ठाक कमाई हो रही है और जल्द ही सभी पार्किंग पर सिंप्यूटर्स दे दिए जाएंगे। इससे साफ है कि जब परिषद का अप्रशिक्षित स्टाफ कमाई करके दे सकता है तो फिर डिक्वट्स कंपनी कमाई करके क्यों नहीं दे पाई।
सूत्रों के मुताबिक अब डिक्वट्स कंपनी के कारनामों पर पर्दा डालने की तैयारी भी शुरू हो चुकी है। हालांकि इस मामले में फंसे एक अफसर के पर कतर लिए गए हैं।