अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने एक बार फिर अपने ‘अमेरिका फर्स्ट’ एजेंडे को आगे बढ़ाते हुए एप्पल के सीईओ टिम कुक को साफ शब्दों में कहा है कि वे भारत में निर्माण कार्य न करें और अमेरिका में ही उत्पादन बढ़ाएं। ट्रंप ने यह बयान अपने ‘All-In’ पॉडकास्ट साक्षात्कार में दिया, जहां उन्होंने अमेरिकी कंपनियों से अपील की कि वे घरेलू निर्माण को प्राथमिकता दें।
ट्रंप ने कहा, “मैं टिम कुक से कहता हूं कि मैं नहीं चाहता कि आप भारत में निर्माण करें। मैं चाहता हूं कि आप अमेरिका में निर्माण करें।” ट्रंप के इस बयान को अमेरिका में आगामी राष्ट्रपति चुनाव से पहले घरेलू उद्योग को समर्थन देने के प्रयास के रूप में देखा जा रहा है।
गौरतलब है कि एप्पल ने पिछले कुछ वर्षों में भारत में अपने उत्पादन को तेजी से बढ़ाया है। वित्तीय वर्ष 2023-24 में एप्पल ने भारत से 22 अरब डॉलर (करीब 1.83 लाख करोड़ रुपये) के iPhones का निर्माण और निर्यात किया। इसके तहत प्रमुख उत्पादन केंद्र तमिलनाडु और कर्नाटक में स्थित हैं, जहां Foxconn और Tata Electronics जैसे भागीदार कंपनियां कार्यरत हैं।
भारत सरकार भी “मेक इन इंडिया” के तहत एप्पल जैसी वैश्विक कंपनियों को देश में निर्माण के लिए आकर्षित कर रही है। इससे भारत को एक वैकल्पिक मैन्युफैक्चरिंग हब के रूप में चीन के विकल्प के तौर पर पेश किया जा रहा है।
ट्रंप ने भारत पर व्यापारिक अवरोध (टैरिफ) लगाने का आरोप भी दोहराया। उन्होंने कहा कि भारत में अमेरिकी उत्पादों को बेचना बेहद कठिन है क्योंकि वहां बहुत ऊंचे टैरिफ लगाए जाते हैं। हालांकि, उन्होंने यह भी कहा कि भारत सरकार ने कुछ टैरिफ कम करने पर सहमति जताई है, लेकिन अमेरिका को अब भी नुकसान हो रहा है।
ट्रंप के इस बयान से अमेरिकी टेक कंपनियों पर घरेलू दबाव बढ़ सकता है, जबकि भारत के लिए यह एक नई कूटनीतिक चुनौती हो सकती है। ऐसे वक्त में जब एप्पल जैसी कंपनियां चीन से हटकर भारत में निवेश बढ़ा रही हैं, ट्रंप की यह टिप्पणी बहुपक्षीय असर डाल सकती है।