कांग्रेस की गुजरात इकाई ने सूरत लोकसभा सीट के प्रत्याशी रहे नीलेश कुम्भाणी को शुक्रवार को छह साल के लिए पार्टी से निलंबित कर दिया। विसंगतियों के कारण कुम्भाणी का नामांकन पत्र खारिज हो जाने से भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के मुकेश दलाल को निर्विरोध विजेता घोषित कर दिया गया।
कांग्रेस ने एक बयान में कहा कि पार्टी की अनुशासन समिति ने गहन चर्चा के बाद कुम्भाणी को निलंबित करने का फैसला किया है। यह भी बताया कि पार्टी इस निष्कर्ष पर पहुंची है कि नामांकन पत्र उनकी घोर लापरवाही या ‘‘ भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) से उनकी मिलीभगत’’ के कारण रद्द हुआ।
बाबू पटेल की अध्यक्षता वाली कांग्रेस की अनुशासन समिति ने कहा, ‘‘ आपके प्रति निष्पक्ष रहते हुए हमने पूरा मामला समझाने के लिए आपको भरपूर समय दिया है, लेकिन पार्टी अनुशासन समिति के सामने आने के बजाय आप संपर्क से बाहर रहे। अधिकारियों द्वारा आपका फॉर्म खारिज किये जाने के बाद भाजपा ने अन्य आठ नामांकन पत्र भी वापस करवा लिए। इससे सूरत के लोग अपने मताधिकार से वंचित हो गए हैं।’’
विज्ञप्ति में कहा, ‘‘ आपकी इस हरकत से सूरत की जनता और पार्टी कार्यकर्ताओं में रोष है और अलग-अलग तरीके से अपना गुस्सा प्रकट कर रहे हैं। कांग्रेस ने आपको छह साल के लिए पार्टी से निलंबित करने का फैसला किया है।’’ कुम्भाणी का नामांकन पत्र 21 अप्रैल को खारिज कर दिया गया था क्योंकि उनके तीन प्रस्तावकों ने जिला निर्वाचन अधिकारी को हलफनामा देकर दावा किया था कि दस्तावेज पर हस्ताक्षर उनके नहीं थे।