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जम्मू-कश्मीर: सर्वदलीय बैठक के बाद बोले फारुख अब्दुल्ला, तनाव बढ़ाने वाला कदम न उठाएं भारत-पाक

जम्मू-कश्मीर के मौजूदा हालात पर जम्मू-कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री और नेशनल कॉन्फ्रेंस के नेता फारूख...
जम्मू-कश्मीर: सर्वदलीय बैठक के बाद बोले फारुख अब्दुल्ला, तनाव बढ़ाने वाला कदम न उठाएं भारत-पाक

जम्मू-कश्मीर के मौजूदा हालात पर जम्मू-कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री और नेशनल कॉन्फ्रेंस के नेता फारूख अब्दुल्ला के घर सर्वदलीय बैठक जारी है। इस बैठक में कांग्रेस, पीडीपी, सज्जाद लोन और शाह फैसल की पार्टी के नेता भी शामिल हैं।

सर्वदलीय बैठक के बाद नेशनल कॉन्फ्रेंस के नेता फारूख अब्दुल्ला ने कहा कि कश्मीर के लिए यह सबसे बुरा वक्त है। अब से पहले कभी भी अमरनाथ यात्रा रद्द नहीं की गई। उन्होंने कहा कि भारत और पाकिस्तान कोई ऐसा कदम न उठाएं जिससे दोनों देशों के बीच तनाव बढ़े। उन्होंने कहा कि सभी पार्टियों ने एकमत से फैसला लिया कि जम्मू-कश्मीर की स्वायत्तता और स्पेशल स्टेटस की रक्षा के लिए हम एक रहेंगे।

महबूबा मुफ्ती को एसीबी का नोटिस

जम्मू-कश्मीर की पूर्व मुख्यमंत्री  पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी (पीडीपी) की अध्यक्ष महबूबा मुफ्ती को ऐंटी करप्शन ब्यूरो (एसीबी) कश्मीर-श्रीनगर ने पत्र लिखकर कथित भ्रष्टाचार पर जवाब मांगा है। पत्र में लिखा गया है कि जम्मू-कश्मीर बैंक के चेयरमैन ने कुछ नियुक्तियां कुछ मंत्रियों की सिफारिश पर की हैं। यह स्पष्ट करें कि जम्मू-कश्मीर बैंक में नियुक्तियों के लिए इस तरह के संदर्भों में क्या आपका समर्थन था। हालांकि, एसीबी के पत्र पर महबूबा मुफ्ती ने तंज भरे अंदाज में कहा है कि यह मिलने के बाद उन्हें कोई हैरानी नहीं हुई।

महबूबा मुफ्ती ने एसीबी का खत मिलने के बाद अपने ऑफिशल ट्विटर अकाउंट से ट्वीट किया है। उन्होंने कहा, 'ऐंटी करप्शन ब्यूरो के द्वारा एक पत्र मिलने से मैं कोई हैरान नहीं हूं। मुख्यधारा के नेता एकजुट न हो पाएं और सामूहिक प्रतिक्रिया के प्रयास सफल न होने पाएं, इसके लिए निरंतर प्रयास किए जा रहे हैं। हालांकि, इस तरह के प्रयास नहीं चल पाएंगे।'

'कहां गई इंसानियत, कश्मीरियत और जम्हूरियत?’

केंद्र सरकार की एडवाइजरी के बाद अमरनाथ यात्री और सैलानी आनन-फानन में घाटी छोड़कर लौट रहे हैं। इस बीच महबूबा मुफ्ती ने कश्मीर के हालात पर चिंता जताई है। महबूबा मुफ्ती ने केंद्र सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि यात्रियों, पर्यटकों और छात्रों को कश्मीर से जाने को कहा गया है। कश्मीरियों को राहत देने की कोशिश नहीं की जा रही है। महबूबा मुफ्ती ने प्रधानमंत्री मोदी पर निधाना साधते हुए कहा, ‘कहां गई इंसानियत, कश्मीरियत और जम्हूरियत?’

हमें कोई जवाब नहीं मिल रहा है’

रविवार को महबूबा मुफ्ती होटल में जम्मू-कश्मीर की क्षेत्रीय पार्टियों के साथ बैठक करने वाली थीं, लेकिन राज्य पुलिस ने सभी होटलों को एडवाइजरी जारी कर राजनीतिक बैठक रद्द करने के लिए कहा है। जम्मू कश्मीर की पूर्व मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती ने कहा कि हम केंद्र सरकार को ये बताना चाहते हैं कि धारा 370 और अनुच्छेद 35ए से छेड़छाड़ करने के नतीजे बहुत खतरनाक होंगे। हमने बात करने की कोशिश की, लेकिन भारत सरकार की तरफ से कोई जवाब नहीं मिल रहा है। लोग घबराए हुए हैं। सरकार बात करना नहीं चाहती।

केंद्र सरकार को देनी चाहिए सफाई’

महबूबा मुफ्ती ने कहा, केंद्र सरकार को इस पर सफाई देनी चाहिए। हमने सभी क्षेत्रीय पार्टियों बैठकर बात करने का फैसला किया था। इसलिए हमने होटल में बैठने का फैसला किया था। पुलिस ने होटल को एडवाइजरी जारी की है और राजनीतिक दलों की बैठक पर रोक लगा दी है। इसलिए हमें होटल से मीटिंग रद्द कर शाम 6 बजे अपने घर पर रखनी पड़ी। फारूक अब्दुल्ला से मैंने बात की उनकी तबीयत ठीक नहीं है, लेकिन उमर अब्दुल्ला आएंगे। आप (केंद्र) जो करने जा रहे हैं वो पूरे देश के लिए खतरनाक होगा।

 

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