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प्याज की कीमत 100 रुपए के पार, कांग्रेस ने कहा- जमाखोरों को संरक्षण देने से खड़ा हुआ संकट

कांग्रेस ने आरोप लगाया है कि देश में प्याज की आपूर्ति कम नहीं है लेकिन सरकार बिचौलियों और जमाखोरों को...
प्याज की कीमत 100 रुपए के पार, कांग्रेस ने कहा- जमाखोरों को संरक्षण देने से खड़ा  हुआ संकट

कांग्रेस ने आरोप लगाया है कि देश में प्याज की आपूर्ति कम नहीं है लेकिन सरकार बिचौलियों और जमाखोरों को संरक्षण दे रही है जिससे प्याज का संकट पैदा हुआ है। यानी जो प्याज दो हफ्ते पहले 40-50 रुपये किलो थी, अब वह 100 रुपये के पार हो गई है। कांग्रेस प्रवक्ता सुप्रिया श्रीनेत ने बुधवार को एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा कि प्याज का संकट बिचौलिया और जमाखोरी के कारण खड़ा हुआ है और सरकार दोषियो के खिलाफ कार्रवाई करने  के बजाय संरक्षण दे रही है। यह पहली बार नहीं हो रहा है।जब भी भाजपा की सरकार आती है तो देश की जनता को प्याज के आंसू बहाने पड़ते हैं।

'सौ रुपये से ज्यादा हो गए हैं दाम'

उन्होंने कहा कि देश में कश्मीर से लेकर कन्याकुमारी तक प्याज की जबरदस्त खपत है। करीब डेढ़ करोड़ टन प्रतिवर्ष हम प्याज इस्तेमाल करते हैं। आज प्याज की कीमतें दो हफ्ते पहले के 40-50 रुपए से 100 रुपए प्रति किलो पार कर गई है। कांग्रेस नेता ने कहा कि अब सरकार क्या कर रही है - अफगानिस्तान से, तुर्की से, ईजिप्ट से, ईरान से प्याज का आयात किया जाएगा। लेकिन आंकड़े, विशेषज्ञ और तथ्य ये बताते हैं कि प्याज की आपूर्ति में कहीं पर भी कोई कमी नहीं है। समस्या बिचौलियों और जमाखोरों को संरक्षण देने से ही है।

'सरकार की नीयत में खोट'

उन्होंने कहा कि आपूर्ति की कमी नहीं है, क्योंकि 1981 में हमारे देश में 2.3 मिलियन टन प्य़ाज का उत्पादन था। 2017 में वो करीब 23 मिलियन टन हो गया। 15 मिलियन टन हम हर साल इस्तेमाल करते हैं, 23, 24, 25 मिलियन टन हमारे देश में उत्पादन है। कमी बिचौलियों पर नियंत्रण करने और सरकार की नीयत में है।

एक अध्ययन का हवाला देते हुए सुप्रिया श्रीनेत ने बताया कि कार्टेलाइजेशन और ट्रेडर ये कीमतें बढ़ा रहे हैं। ज्यादा प्याज के दाम से किसानों को कोई लाभ नहीं होता है।  किसान को वही 5 से 8 रुपए प्रति किलो प्याज पर मिलते हैं। जो थोक व्यापारी होते हैं, उसको 10 प्रतिशत, 15 प्रतिशत ज्यादा मिलते हैं और जो रिटेल होता है, उसको 20 से 25 प्रतिशत ज्यादा मिलते हैं। जब से 40 रुपए से 100 रुपए किलो प्याज हुआ है, तो पैसा असल में ये बिचौलिए और जमाखोर बना रहे हैं। जरूरत इस बात की कि एक दीर्घकालीन उपाय  सोचिए और जो किसान प्याज उगाता है, उनको उसका उचित मूल्य दिलाईए।

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