कर्नाटक में कांग्रेस-जेडी(एस) सरकार के लिए सोमवार का दिन परीक्षा की घड़ी माना जा रहा है। आज विधानसभा में विश्वासमत पर वोटिंग हो सकती है। कर्नाटक विधानसभा की कार्यवाही शुरु होने पर भाजपा ने शक्ति परीक्षण की प्रक्रिया सोमवार को ही पूरा करने पर जोर दिया। वहीं विधानसभा अध्यक्ष के. आर. रमेश कुमार ने सरकार से कहा कि वह शक्ति परीक्षण प्रक्रिया सोमवार को समाप्त करने की अपनी प्रतिबद्धता का सम्मान करे। बता दें कि कुमारस्वामी ने बागी विधायकों से वापस लौटने और सदन में चर्चा के दौरान भाजपा को बेनकाब करने की अपील की। हालांकि बागी विधायकों ने सत्र में भाग लेने की संभावना को खारिज किया है। वहीं कांग्रेस के नेता डी के शिवकुमार ने दावा किया कि कुमारस्वामी ने कांग्रेस से कहा है कि वह गठबंधन को बचाने के लिए अपनी पसंद के किसी भी नेता को मुख्यमंत्री नामित कर सकती है। हालांकि जेडीएस की ओर से इसकी कोई पुष्टि नहीं हुई कि उसने ऐसा कोई प्रस्ताव दिया है।
इधर, भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष और राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री बी एस येदियुरप्पा ने विश्वास जताया है कि सोमवार कुमारस्वामी सरकार का आखिरी दिन होगा। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री सिर्फ समय हासिल करने का प्रयास कर रहे हैं। गठबंधन के विधायकों के इस्तीफों के बाद एच डी कुमारस्वामी की अगुआई वाली सरकार ने 19 जुलाई को बहुमत साबित करने के लिए राज्यपाल वजुभाई वाला द्वारा दी गई दो समय-सीमाओं का पालन नहीं किया था।
LIVE अपडेट्स
-कांग्रेस मंत्री डीके शिवकुमार ने कर्नाटक विधानसभा में कहा, 'भाजपा इस बात को स्वीकार क्यों नहीं कर रही है कि उसे कुर्सी चाहिए? वह क्यों नहीं मान रहे हैं कि ऑपरेशन लोटस के पीछे उसका हाथ है? उन्हें यह बात माननी चाहिए कि उन्होंने इन (बागी) विधायकों से बात की है।'
-कृपया मुझे बलि का बकरा न बनाएं: स्पीकर
-अध्यक्ष के आर रमेश कुमार ने कहा कि बहस अब शुरू होनी चाहिए। हर कोई हमें देख रहा है। कृपया मुझे बलि का बकरा न बनाएं। हमें अपने लक्ष्य तक पहुंचने दें।" कर्नाटक विधानसभा अध्यक्ष के. आर. रमेश कुमार ने सरकार से कहा कि वह शक्ति परीक्षण प्रक्रिया सोमवार को समाप्त करने की अपनी प्रतिबद्धता का सम्मान करे ।
-कर्नाटक विधानसभा की कार्यवाही शुरु होने पर भाजपा ने शक्ति परीक्षण की प्रक्रिया सोमवार को ही पूरा करने पर जोर दिया।
-कर्नाटक के स्पीकर केआर रमेश कुमार ने कहा, 'मैं आज एक आदेश पारित करुंगा। मुझे आदेश पारित करने में देरी इसलिए हो गई क्योंकि मैं उच्चतम न्यायालय के आदेश की प्रतीक्षा कर रहा था। अपने भाषणों में आज इस बात को सुनिश्चित करें कि विधानसभा की गरिमा बनी रहे। ये समय काटने वाली रणनीति है। यह विधानसभा, अध्यक्ष की छवि और विधायकों के रूप में आपकी भी छवि को भी नुकसान पहुंचाता है।'
-स्पीकर केआर रमेश कुमार ने 23 जुलाई को सुबह 11 बजे अपने कार्यालय में बागी विधायकों को मिलने बुलाया।
-निर्दलीय विधायकों की याचिका आज नहीं सुनेगा सुप्रीम कोर्ट
निर्दलीय विधायकों के द्वारा सुप्रीम कोर्ट में जो याचिका दायर की गई थी, उसपर आज सुनवाई से चीफ जस्टिस ने इनकार कर दिया है। मुकुल रोहतगी ने निर्दलीय विधायकों की तरफ से मामला उठाया तो सीजेआई रंजन गोगोई ने कहा असंभव, आज सुनवाई नहीं हो सकती है। दरअसल, इन विधायकों ने विधानसभा में फ्लोर टेस्ट को जल्द करवाने की अपील की थी।
कुमारस्वामी की कवायद
इन खबरों के बीच सरकार इस उम्मीद से विश्वास प्रस्ताव पर चर्चा खींचने की अब भी प्रयास कर रही है कि सुप्रीम कोर्ट से कोई ना कोई राहत मिल जाएगी। कुमारस्वामी ने रविवार को एक बयान में कहा, 'विश्वासमत पर चर्चा के लिए समय लेने का मेरा इरादा केवल यह है कि पूरा देश यह जान सके कि नैतिकता की बात करने वाली भाजपा लोकतंत्र के साथ ही संविधान के सिद्धांतों को पलटना चाहती है।' उन्होंने बागी विधायकों को बातचीत की पेशकश की ताकि उनके मुद्दों का समाधान किया जा सके।
कुमारस्वामी ने रविवार को बीजेपी पर तीखा हमला बोला और उस पर अपनी अनैतिक राजनीति से नये निम्न स्तर पर उतरने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा, 'यह अत्यंत पीड़ा का विषय है कि भाजपा न सिर्फ कर्नाटक के राजनीतिक परिदृश्य को एक नए निम्न स्तर पर ले गई है, बल्कि अनैतिक राजनीति के लिए देश में एक नए निम्न स्तर को छुआ है। बीजेपी ने सत्तारूढ़ गठबंधन के विधायकों को बलपूर्वक ले जाकर लोकतंत्र का मजाक बनाया है।' उन्होंने असंतुष्ट विधायकों से वापस लौटने और बीजेपी को बेनकाब करने की अपील की। उन्होंने कहा, 'मैं हमसे दूर चले गए विधायकों से अपील करना चाहता हूं कि सत्र में शामिल हों और बताएं कि बीजेपी कैसे उन्हें जबरदस्ती ले गई।'
जेडीएस नेता ने भी आश्वासन दिया कि वह उनकी समस्याओं को हल करने के लिए हर संभव प्रयास करेंगे।
‘वापस नहीं लौटेंगे बागी विधायक’
मुंबई के होटल में रुके बागी विधायकों ने जोर देकर कहा कि वे वापस नहीं लौटेंगे और इस आरोप को भी खारिज कर दिया कि उन्हें बंधक बनाया गया है। जेडीएस के बागी विधायक के गोपालैया ने 10 अन्य विधायकों के साथ एक विडियो संदेश में कहा, 'हमने सोचा था कि यह सरकार राज्य के लिए अच्छा करेगी लेकिन ऐसा नहीं हुआ। विधानसभा सत्र में हिस्सा लेने का कोई सवाल ही नहीं है।'
लोकसभा चुनाव के बाद जेडीएस के प्रदेश अध्यक्ष के पद से इस्तीफा देने वाले एच विश्वनाथ ने कहा, 'गठबंधन के नाम पर ...राजनीति ने लोगों का कोई भला नहीं किया और विधायकों को इस्तीफा देने के लिए मजबूर किया।'
सरकार बचाने के लिए बदल सकते हैं मुख्यमंत्री?
कांग्रेस के नेता डी के शिवकुमार ने दावा किया कि कुमारस्वामी ने कांग्रेस से कहा है कि वह गठबंधन को बचाने के लिए अपनी पसंद के किसी भी नेता को मुख्यमंत्री नामित कर सकती है। हालांकि जेडीएस की ओर से इसकी कोई पुष्टि नहीं हुई कि उसने ऐसा कोई प्रस्ताव दिया है। पहले ऐसी खबरें थी कि कुमारस्वामी के ऐसे सुझाव को उनके पिता एवं जेडीएस सुप्रीमो एच डी देवेगौड़ा ने खारिज कर दिया था।
बीएसपी ने दी राहत
इस बीच गठबंधन को थोड़ी राहत तब मिली जब बीएसपी प्रमुख मायावती ने कर्नाटक में अपनी पार्टी के एकमात्र विधायक एन महेश को विश्वास प्रस्ताव के समर्थन में वोट करने का निर्देश दिया।
वहीं, येदियुरप्पा ने कुमारस्वामी पर निशाना साधते हुए सवाल किया कि उनकी नैतिकता तब कहां गई थी जब जेडीएस और कांग्रेस चुनाव अलग-अलग लड़ने के बाद सत्ता की भूख शांत करने के लिए साथ आ गई थी।
इससे पहले क्या हुआ?
शुक्रवार को दोपहर डेढ़ बजे की समय सीमा और विश्वास प्रस्ताव की प्रक्रिया शुक्रवार तक संपन्न करने की समय सीमा को नजरअंदाज किए जाने के बाद विधानसभा की कार्यवाही सोमवार के लिए स्थगित कर दी गई थी। सत्तारूढ़ गठबंधन ने समय सीमा का निर्देश देने की राज्यपाल की शक्तियों पर सवाल उठाया है।
विधानसभा अध्यक्ष रमेश कुमार ने शुक्रवार को सदन की कार्यवाही स्थगित करने से पहले गठबंधन से यह वादा लिया था कि विश्वास मत सोमवार को निष्कर्ष पर पहुंच जाएगा। उन्होंने यह भी साफ किया कि किसी भी स्थिति में इसे और अधिक नहीं टाला जाए। विश्वास प्रस्ताव पर सत्तापक्ष द्वारा अपने विधायकों की लंबी लिस्ट को बोलने का मौका दिये जाने पर जोर दिया है और चर्चा पूरी होनी बाकी है, ऐसे में राजनीतिक गलियारों में ये प्रश्न उठ रहे हैं कि क्या सोमवार को विश्वास प्रस्ताव पर मतदान होगा।
यदि सोमवार को भी इसे टालने की कोशिश हुई तो....
यदि सत्तारूढ़ गठबंधन सोमवार को भी इसे टालने की कोशिश करता है तो फिर सारी नजरें राज्यपाल के अगले कदम पर होंगी। येदियुरप्पा ने मीडिया से कहा, 'मैं आश्वस्त हूं कि कल(सोमवार) कुमारस्वामी सरकार का आखिरी दिन होगा।' उन्होंने कहा, 'सुप्रीम कोर्ट ने अपने आदेश में स्पष्ट रूप से कहा है कि मुंबई में ठहरे हुए 15 विधायकों को किसी भी सूरत में विधानसभा के मौजूदा सत्र में शामिल होने के लिए मजबूर नहीं किया जाए।'
बहुमत साबित करने में असफल रहे तो....
कुमारस्वामी यदि सदन में बहुमत साबित करने में असफल रहते हैं तो उन्हें इस्तीफा देना होगा। येदियुरप्पा ने पहले ही दावा किया है कि कांग्रेस-जेडीएस गठबंधन के पास महज 98 विधायक हैं और वह बहुमत खो चुका है। जबकि भाजपा के पास 105 विधायक हैं और वह एक वैकल्पिक सरकार के गठन के लिए सहज स्थिति में है। करीब 16 विधायकों (कांग्रेस के 13 और जेडीएस के 3) ने इस्तीफा दिया है, जबकि 2 निर्दलीय विधायकों ने भी गठबंधन सरकार से अपना समर्थन वापस ले लिया है और वे अब भाजपा का समर्थन कर रहे हैं।
एजेंसी